वाशिंगटन, 10 मई (भाषा) राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने शनिवार को दावा किया कि अमेरिका की मध्यस्थता से हुई वार्ता के बाद भारत और पाकिस्तान ‘‘तत्काल और पूर्ण’’ संघर्ष विराम पर सहमत हो गए हैं।
अमेरिका की मध्यस्थता से संघर्ष विराम ऐसे समय में हुआ है जब भारत और पाकिस्तान की सेनाओं द्वारा एक-दूसरे के सैन्य ठिकानों को निशाना बनाया जा रहा था, जिससे संघर्ष गंभीर रूप से बढ़ गया था।
अमेरिका के राष्ट्रपति ट्रंप ने ‘ट्रुथ सोशल’ पर एक पोस्ट में घोषणा की, ‘‘अमेरिका की मध्यस्थता में पूरी रात चली बातचीत के बाद, मुझे यह घोषणा करते हुए खुशी हो रही है कि भारत और पाकिस्तान ‘तत्काल और पूर्ण संघर्ष विराम’ पर सहमत हो गए हैं।’’
ट्रंप ने कहा, ‘‘दोनों देशों को समझदारी और विवेक का इस्तेमाल करने के लिए बधाई। इस मामले पर ध्यान देने के लिए धन्यवाद।’’
ट्रंप ने यह घोषणा अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो के विदेश मंत्री एस जयशंकर, पाकिस्तान के विदेश मंत्री इस्हाक डार और पाकिस्तान के सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर से बातचीत के बाद की।
रुबियो ने भी ‘एक्स’ पर ऐसा ही बयान दिया है।
रुबियो ने कहा, ‘‘पिछले 48 घंटे में उपराष्ट्रपति जेडी वेंस और मैंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, विदेश मंत्री जयशंकर और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ, सेना प्रमुख मुनीर और भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल समेत वरिष्ठ भारतीय और पाकिस्तानी अधिकारियों के साथ बातचीत की है।’’
रुबियो ने कहा कि उन्हें ‘‘यह घोषणा करते हुए खुशी हो रही है कि भारत और पाकिस्तान की सरकारें तत्काल संघर्ष विराम और तटस्थ स्थल पर व्यापक मुद्दों पर बातचीत शुरू करने पर सहमत हो गई हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘हम शांति का मार्ग चुनने के लिए प्रधानमंत्री मोदी और शरीफ के विवेक और राजनीतिक सूझबूझ की सराहना करते हैं।’’
नयी दिल्ली में सरकारी सूत्रों ने बताया कि भारत और पाकिस्तान के बीच गोलीबारी और सैन्य कार्रवाई रोकने का मामला सीधे तौर पर दोनों देशों के बीच तय हुआ था।
सूत्रों ने बताया कि पाकिस्तान के सैन्य अभियान महानिदेशक (डीजीएमओ) ने आज दोपहर फोन पर बातचीत की जिसके बाद चर्चा हुई और सहमति बनी।
इस्लामाबाद में पाकिस्तान के उप प्रधानमंत्री एवं विदेश मंत्री डार ने तत्काल प्रभाव से संघर्ष विराम की पुष्टि की।
डार ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में कहा, ‘‘पाकिस्तान और भारत तत्काल प्रभाव से संघर्ष विराम पर सहमत हो गए हैं। पाकिस्तान ने हमेशा अपनी संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता से समझौता किए बिना क्षेत्र में शांति और सुरक्षा के लिए प्रयास किया है।’’
भाषा
देवेंद्र पवनेश
पवनेश
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