यरुशलम, 15 जुलाई (भाषा) अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन का पश्चिम एशिया का पहला दौरा सफल रहता है या विफल, यह इस बात पर निर्भर करेगा कि जब वह सऊदी अरब के युवराज मोहम्मद बिन सलमान से मिलेंगे तो उस मुलाकात से क्या निकलता है।
दुनिया की निगाहें शुक्रवार को होने वाली बहुप्रतीक्षित बैठक पर टिकी हैं। क्या अमेरिकी राष्ट्रपति और सऊदी अरब के युवराज की मुलाकात, दो रणनीतिक साझेदारों के बीच आई दूरी को पाटने की दिशा में शुरुआत करने वाली होगी? दोनों देशों के बीच की दूरियों के कारण दुनिया की तेल आपूर्ति अधर में लटकी हुई है।
उनकी मुलाकात के संबंध में कई अटकलें लगाई जा रही हैं। राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के रूप में बाइडन ने मानवाधिकार मामले को लेकर सऊदी अरब की तीखी आलोचना की थी।
बाइडन से जब बृहस्पतिवार को पूछा गया कि क्या वह युवराज के साथ मुलाकात के दौरान पत्रकार और सऊदी साम्राज्य के आलोचक जमाल खशोगी की 2018 में हुई हत्या का मुद्दा उठाएंगे, तो अमेरिकी राष्ट्रपति ने इसका सीधा जवाब नहीं दिया।
डेमोक्रेटिक राष्ट्रपति ने पिछले साल एक अमेरिकी खुफिया जानकारी को जारी करने की मंजूरी दी थी जिसमें माना गया था कि युवराज सलमान ने संभवत: खशोगी की हत्या को मंजूरी दी थी। रिपोर्ट के जारी होने से अमेरिका-सऊदी संबंधों में दरार आ गई थी।
बाइडन ने कहा, “खशोगी के बारे में मेरे विचार स्पष्ट हैं। और मैं मानवाधिकारों के बारे में बात करने में कभी चुप नहीं रहा। मेरे सऊदी अरब दौरे की वजहें हालांकि व्यापक हैं। यह अमेरिकी हितों को बढ़ावा देने के लिए है…।”
बाइडन पश्चिम एशिया के अपने चार दिवसीय दौरे के तीसरे दिन जेद्दाह पहुंचे। जेद्दाह में बाइडन शीर्ष सऊदी अधिकारियों से मुलाकात करेंगे।
एपी प्रशांत अविनाश
अविनाश
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