मॉस्को, नौ जुलाई (भाषा) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मंगलवार को यहां राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ रोसेटम पवेलियन का दौरा किया और कहा कि ऊर्जा भारत और रूस के बीच सहयोग का महत्वपूर्ण स्तंभ है तथा नई दिल्ली इस क्षेत्र में मॉस्को के साथ संबंध और मजबूत करने को लेकर आशान्वित है।
मोदी ने वीडीएनकेएच के रोसेटम मंडप में असैन्य परमाणु ऊर्जा के क्षेत्र में भारत-रूस सहयोग को समर्पित एक फोटो प्रदर्शनी देखी, जिसका उद्घाटन नवंबर 2023 में किया गया था। यह वैज्ञानिक और तकनीकी विकास के इतिहास में सबसे बड़ी प्रदर्शनियों में से एक है।
मोदी ने यात्रा की अपनी तस्वीरों को साझा करते हुए सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘राष्ट्रपति पुतिन के साथ एटम पवेलियन का दौरा किया। ऊर्जा भारत और रूस के बीच सहयोग का महत्वपूर्ण स्तंभ है और हम इस क्षेत्र में संबंध और मजबूत करने के लिए आशान्वित हैं।’’
विदेश मंत्रालय के एक बयान के अनुसार, ‘‘प्रधानमंत्री मोदी को ‘एटमिक सिम्फनी’ भी दिखाई गई – जो वीवीईआर-1000 रिएक्टर का एक स्थायी कार्यशील मॉडल है। यह भारत में कुडनकुलम परमाणु ऊर्जा संयंत्र (केकेएनपीपी) का ‘हृदय’ है।’’
मोदी राष्ट्रपति पुतिन के साथ 22वीं भारत-रूस वार्षिक शिखरवार्ता में भाग लेने यहां आए हैं।
विदेश मंत्रालय ने कहा, ‘‘पवेलियन में प्रधानमंत्री ने भारतीय और रूसी छात्रों के एक समूह से भी बातचीत की। उन्होंने उन्हें विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में भविष्य की संभावनाओं पर विचार करने के लिए प्रोत्साहित किया, जिसका उपयोग भविष्य की पीढ़ियों और धरती के लाभ के लिए किया जा सकता है।’’
मंत्रालय ने यात्रा के बाद ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘परमाणु प्रौद्योगिकी के शांतिपूर्ण उपयोग में सहयोग भारत और रूस के बीच बहुमुखी सहयोग का एक महत्वपूर्ण स्तंभ है।’’
इससे पहले मोदी ने यहां ‘टांब ऑफ द अननोन सोल्जर’ में श्रद्धांजलि दी।
भाषा वैभव मनीषा
मनीषा
यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.