नई दिल्ली: कांग्रेस पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी किसान आंदोलन को लेकर सरकार से पूछा है कि सरकार किलाबंदी क्यों कर रही है. क्या सरकार किसान से डरती है. इस दौरान राहुल ने कहा कि तीनों कृषि कानून रद्द होना ही चाहिए.
राहुल गांधी ने मोदी सरकार से कई सवाल किए और पूछा कि क्या किसान इनके ‘दुश्मन’ हैं. राहुल ने कहा, ‘किसान भारत की शक्ति हैं और स्ट्रेंथ है और इसको दबाना, मारना और धमकाना सरकार का काम नहीं है. सरकार का काम किसानों को सुनने का है और इस समस्या को सुलझाने का है.’
‘आज पूरी दिल्ली किसानों से घिरी हुई है ये वही किसान है जो हमारे अन्नदाता हैं. क्यों पूरी दिल्ली को किले में तब्दील कर दिया गया है.’
राहुल ने कहा, सरकार किसान से बात क्यों नहीं कर रही है. यह हमारे देश के लिए अच्छा नहीं है.’
उन्होंने कहा, ‘मैं किसानों को बहुत अच्छे से जानता हूं, ये पीछे हटने वाले नहीं हैं. सरकार को ही पीछे हटना होगा. ‘फायदा है सबका कि आज हट जाएं.
इस दौरान राहुल ने कहा पीएम कहते हैं कि प्रस्ताव अभी भी 2 साल के लिए स्थगित करने की बात की जा रही है. इसका क्या मतलब है? या तो आप मानते हैं कि आपको कानूनों से छुटकारा पाने की आवश्यकता है या आप नहीं मानते हैं.
राहुल ने कहा कि मुझे लगता है कि इस मुद्दे को जल्द से जल्द हल किया जाना चाहिए और सरकार को सुनने की जरूरत है क्योंकि किसान पीछे हटने वाले नहीं है.
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किसान हमारा आंतरिक मामला
इस दौरान राहुल गांधी से पूछा गया कि विदेश के कुछ सेलीब्रिटी किसान आंदोलन पर कमेंट कर रहे हैं तो उन्होंने पहले कहा मुझे इसपर कुछ नहीं कहना है लेकिन बाद में उन्होंने कहा कि यह हमारा आंतरिक मामला है.
इससे पहले राहुल गांधी ने एक ट्वीट किया था जिसपर सुबह से ही सोशल मीडिया पर काफी चर्चा रही है और वह ट्वीट उनपर ही उल्टा पड़ता नजर आया. राहुल ने पूछा कि ‘एम’ नाम के लोग तानाशाह क्यों होते हैं. उन्होंने ये ट्वीट म्यांमार में सैन्य तख्तापलट को लेकर किया था राहुल गांधी ने बुधवार सुबह ट्वीट कर पूछा था कि आखिर तानाशाहों का नाम अंग्रेजी के एक ‘M’ (हिंदी में ‘म’) अक्षर से ही शुरू क्यों होता हैं.
Why do so many dictators have names that begin with M ?
Marcos
Mussolini
Milošević
Mubarak
Mobutu
Musharraf
Micombero— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) February 3, 2021
इसके बाद सोशल मीडिया पर लोगों ने राहुल से पूछा कि ‘एम’ नाम के सभी तानाशाह तो मोहनदास करमचंद गांधी, आपके बाबा मोती लाल नेहरू और मनमनोहन सिंह कौन?
बजट सिर्फ एक फीसदी के लिए
हालांकि राहुल गांधी ने बजट पर भी अपनी प्रतिक्रिया दी और कहा कि यह बजट ‘एक फीसदी आबादी का बजट है.’ ‘हमारे एमएसएमई है, किसान हैं उनसब से पैसा छीन कर सरकार ने उन्ही पांच, दस, पंद्रह लोगों में बांट दिया है.’
राहुल ने कहा कि अगर अर्थव्यवस्था को चलाना है तो लोगों के हाथ में पैसा दोना होगा. अगर न्याय योजना जैसी योजना को पैसा दिया होता तो अर्थव्यवस्था शुरू हो सकती थी लेकिन सप्लाई चेन को पैसा देने से हमारी अर्थव्यवस्था शुरू नहीं होगी. ‘यही सच्चाई है.’
राहुल ने इस दौरान लद्दाख मामले पर और डिफेंस के बजट पर भी सरकार को घेरने की कोशिश की. राहुल ने कहा, ‘चीन हिंदुस्तान के अंदर आता है हजारों किलोमीटर हमारी जमीन कब्जा कर लेता है लेकिन आपि चीन को क्या मैसेज दे रहे हो कि हमने डिफेंस में एक्सपेंडिचर नहीं बढाया. महज तीन चार हजार करोड़ रुपये बढ़ाया. क्या संदेश गया चीन को कि हम अपनी सेना को सपोर्ट नहीं करेंगे..आपको आना है देश में आओ जो करना है करो.’
जो हमारे जवान लद्दाख में हैं जो हमारे एयरफोर्स के पायलट्स है वो क्या सोच रहे होंगे कि सरकार हमारे लिए क्या कर रही है ..’जो हमारा है वो भी काटकर उन्हीं पांच दस लोगों को दिया जा रहा है. इससे देश को फायदा नहीं होने जा रहा है.
जो भी हमारी सेना को चाहिए वो सरकार को देना चाहिए.’
‘ये कौन सी देशभक्ति है.’
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