नई दिल्ली: भारतीय विदेश मंत्रालय ने किसानों के प्रदर्शन पर कुछ विदेशियों की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया करते हुए कहा कि भारतीय संसद ने पूर्ण चर्चा एवं बहस के बाद सुधारवादी कृषि कानून पारित किया है.
मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा कि इन प्रदर्शनों को भारत की लोकतांत्रिक प्रकृति एवं लोकतांत्रिक राजतंत्र के संदर्भ में देखा जाना चाहिए.
विदेश मंत्रालय ने कहा कि हम अपील करते हैं कि जल्दबाजी में कोई भी टिप्पणी करने से पहले तथ्यों का पता लगा लिया जाए, खासकर मशहूर हस्तियों के बीच सनसनीखेज सोशल मीडिया हैशटैग, टिप्पणियों का लोभ न तो उचित है और न ही यह जिम्मेदाराना रवैया है.
#IndiaTogether #IndiaAgainstPropaganda https://t.co/TfdgXfrmNt pic.twitter.com/gRmIaL5Guw
— Anurag Srivastava (@MEAIndia) February 3, 2021
मौजूदा किसान आंदोलन को लेकर मशहूर पॉप सिंगर रिहाना और जलवायु परिवर्तन कार्यकर्ता ग्रेटा थरनबर्ग ने ट्वीट किया था जिसके बाद सोशल मीडिया पर काफी चर्चा शुरू हो गई. इसी का संज्ञान लेते हुए भारतीय विदेश मंत्रालय ने बयान जारी किया है.
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बयान में कहा गया है कि भारत के कुछ हिस्सों के किसानों को इन सुधारों से कुछ परेशानी है. प्रदर्शनकारियों की भावनाओं को देखते हुए भारत सरकार उनके प्रतिनिधियों से बातचीत कर रही है.
मंत्रालय ने कहा कि सरकार ने किसानों को यह प्रस्ताव भी दिया है कि वो कानूनों को स्थगित भी करने को तैयार है. बयान में कहा गया है कि भारतीय पुलिस इन प्रदर्शनों से निपट रही है.
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