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Sunday, 17 November, 2024
होमराजनीति'शहीदों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा', सर्वदलीय बैठक में सभी दलों के नेता हुए एकजुट

‘शहीदों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा’, सर्वदलीय बैठक में सभी दलों के नेता हुए एकजुट

पीएम मोदी ने देश की जनता को भरोसा दिलाते हुए कहा हमले के पीछे जो ताकते हैं, जो गुनहगार हैं उन्हें उनके किए की सजा अवश्य मिलेगी.

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नई दिल्ली: जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में फिदायीन आतंकी हमले को लेकर नरेंद्र मोदी की सरकार सख्त कदम उठा सकती है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को महाराष्ट्र के यवतलाम में हैं जहां उन्होंने कई विकास कार्यक्रमों की आधारशिला रखी और एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, ‘मैंने कल भी कहा था और आज भी कह रहा हूं, पुलवामा के शहीदों का बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा.’ उन्होंने कहा ‘आज देश का खून खौल रहा है, सुरक्षाबलों में निराशा है मैं आपसे कहना चाहता हूं कि इस बलिदान को व्यर्थ नहीं जाने दिया जाएगा.


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उन्होंने अपने भाषण में फिर दोहराया कि सेना के हाथ खोल दिए हैं, उन्हें पूरी स्वतंत्रता दे दी है. वहीं पीएम मोदी ने देश की जनता को भरोसा दिलाते हुए कहा हमले के पीछे जो ताकते हैं, जो गुनहगार हैं उन्हें उनके किए की सजा अवश्य मिलेगी.

गृहमंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में सर्वदलीय बैठक

वहीं दूसरी तरफ संसद भवन में गृहमंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में सर्वदलीय बैठक की गई है. इस बैठक में राजनाथ सिंह सहित सभी राजनीतिक पारियों के प्रमुख और वरिष्ठ नेता मौजूद हैं. इस बैठक में सभी पार्टियों को पुलवामा में हुए हमले और सरकार द्वारा अब तक उठाए गए कदमों की जानकारी दी जाएगी.

इस बैठक में नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी के चीफ शरद पवार, कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद, आनंद शर्मा, केंद्रीय मंत्री और लोक जनशक्ती पार्टी के चीफ राम विलास पासवान, नेशनल कांफ्रेंस के फ़ारूक अब्दुल्ला, पार्लियामेंट अफेयर्स मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर सहित कई नेता मौजूद थे. मीटिंग शुरू होने से पहले केंद्रीय गृहसचिव राजीव गौबा राजनाथ सिंह के घर पर पहुंचे थे.

एएनआई के ट्वीट से मिली जानकारी के अनुसार आतंक से लड़ने में आम आदमी पार्टी ने भी सरकार के साथ खड़े होने की बात कही है. पार्टी नेता और राज्यसभा सांसद संजय सिंह ने कहा, यह समय ऐसा है जिसमें सभी को एक रहने की जरूरत है. देश की 130 करोड़ जनता केंद्र और प्रधानमंत्री मोदी के साथ खड़ी है. यह समय राजनीति और आरोप प्रत्यारोप का नहीं बल्कि साथ रहने कहा है और मैं इसमें केंद्र और प्रधानमंत्री के साथ हूं. इससे पहले कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी भी सरकार को समर्थन देने की बात कह चुके हैं. गुलाम नबी आजाद ने समर्थन की बात करते हुए कहा, ‘ युद्ध को छोड़कर 1947 के बाद पहली बार इतनी बड़ी संख्या में सुरक्षाबल मारे गए हैं. हम सभी अपने सुरक्षाबलों के साथ खड़े हैं.’

सर्वदलीय बैठक में पारित प्रस्ताव

केंद्रीय संसदीय मामलों के मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने संसद में सर्वदलीय बैठक के बाद पत्रकारों से कहा, ‘राजनाथ सिंह ने सर्वदलीय बैठक में कहा कि जम्मू एवं कश्मीर के पुलवामा में आतंकी हमले से पूरा देश सदमे में है और लोगों के बीच आक्रोश है.’

तोमर ने कहा, ‘राजनाथ सिंह ने आश्वस्त किया कि सुरक्षाबलों का मनोबल ऊंचा है और हम जम्मू एवं कश्मीर में आतंकवाद के खात्मे को लेकर प्रतिबद्ध हैं.’ उन्होंने कहा कि सरकार ने आतंकवादी समूहों और जो इन्हें पनाह देते हैं, उनसे निपटने के लिए सुरक्षाबलों को खुली छूट दे दी है.’

केंद्र द्वारा बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में पारित प्रस्ताव में कहा गया, ‘हम जम्मू एवं कश्मीर के पुलवामा में हुए कायराना हमले की कड़ी निंदा करते हैं, जिसमें सीआरपीएफ के 40 (गुरुवार को आए आंकड़े) वीर जवानों की जान चली गई. हम दुख की इस घड़ी में सभी देशवासियों के साथ उनके परिवारों के साथ खड़े हैं.’

प्रस्ताव में कहा गया, ‘हम हर रूप में आतंकवाद की और सीमा पार से उसे दिए जा रहे समर्थन की कड़ी निंदा करते हैं.’

प्रस्ताव में साथ ही कहा गया कि पिछले तीन दशकों में देश ने सीमा-पार से आतंकवाद का दंश झेला है और भारत ने इन चुनौतियों से लड़ने में दृढ़ता और लचीलापन दोनों दिखाए हैं.

प्रस्ताव में कहा गया, ‘पूरा देश इन चुनौतियों से लड़ने के लिए अपना दृढ़ संकल्प व्यक्त करते हुए एक सुर में बोल रहा है. आज हम आंतकवाद से मुकाबला करने और देश की एकता और अखंडता की रक्षा करने के लिए हमारे सुरक्षा बलों के साथ एकजुटता के साथ खड़े हैं.’

इस बैठक के बाबत शुक्रवार को प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में कैबिनेट कमीटी ऑन सिक्योरिटी पर बैठक भी हुई जिसमें यह तय किया गया कि सरकार सर्वदलीय बैठक करेगी और आतंक के खिलाफ उठाए जा रहे कदम पर विचार करेगी. बैठक के बाद गृहमंत्री राजनाथ सिंह जम्मू-कश्मीर गए थे जहां उन्होंने हालात का जायजा लिया और घायल सैनिकों से भी मुलाकात की थी.

गृहमंत्री ने जवानों के पार्थिव शरीर को कंधा भी दिया था. उसके बाद सारे जवानों का पार्थिव शरीर दिल्ली लाया गया था जहां जवानों को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पुष्पांजलि अर्पित की थी. जवानों को श्रद्धाजंलि देने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल सहित भारतीय जनता पार्टी के कई वरिष्ठ नेता पहुंचे थे.

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