नई दिल्ली: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने यास चक्रवात से हुई तबाही पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ समीक्षा बैठक में शामिल नहीं होने के अपने फैसले पर कहा कि पीएमओ ने मेरा अपमान किया और मेरी छवि खराब करने के लिए ट्वीट किये.
मुख्यमंत्री ने कहा, ‘जब प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री की बैठक थी तो इसमें भाजपा के नेताओं, राज्यपाल को क्यों बुलाया गया.’ उन्होंने कहा कि मैं इससे अपमानित महसूस कर रही हूं. बनर्जी ने कहा कि गुजरात में हुई बैठक में वहां के विपक्षी नेताओं को क्यों नहीं बुलाया गया.
मोदी की बैठक में प्रदेश भाजपा के नेता शुभेंदु अधिकारी भी शामिल थे. यही एक मुख्य कारण बताया जा रहा है कि ममता बनर्जी इस बैठक में शामिल नहीं हुईं.
ममता ने कहा, ‘अगर प्रधानमंत्री बंगाल के लोगों की भलाई के लिए मुझे अपना पैर छूने के लिए कहें तो मैं उसके लिए भी तैयार हूं, लेकिन मेरा अपमान नहीं होना चाहिए.’
ममता बनर्जी ने केंद्र सरकार से कहा कि हम हमेशा आपका सहयोग करते हैं लेकिन आपकी तरफ से सहयोग नहीं किया जाता है. उन्होंने कहा, ‘पीएमओ की तरफ से एकतरफा जानकारी को जारी कर मेरा अपमान किया जा रहा है.’
उन्होंने कहा, ‘केंद्र सरकार काम करने नहीं दे रही है. बंगाल मेरी प्राथमिकता है और मैं इसे खतरे में नहीं डाल सकती.’ बंगाल के मुख्य सचिव अलपन बंदोपाध्याय को केंद्र सरकार में बुलाने के फैसले पर ममता ने कहा कि प्रधानमंत्री इसे वापस लें और हमें काम करने दें.
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मोदी सरकार के मंत्रियों ने ममता पर साधा निशाना
मोदी के साथ बैठक में शामिल न होने के बाद कई केंद्रीय मंत्रियों ने ट्वीट कर ममता बनर्जी पर निशाना साधा.
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने ट्वीट कर कहा, ‘ममता दीदी का व्यवहार दुर्भाग्यपूर्ण है. चक्रवात यास ने कई नागरिकों को प्रभावित किया और वक्त की मांग है कि उनकी मदद की जाए. दुख से कहना पड़ रहा है कि दीदी ने लोगों से ऊपर अपने घमंड को रखा और आज का व्यवहार इसे दिखाता भी है.’
Mamata Didi’s conduct today is an unfortunate low. Cyclone Yaas has affected several common citizens and the need of the hour is to assist those affected. Sadly, Didi has put arrogance above public welfare and today’s petty behaviour reflects that.
— Amit Shah (@AmitShah) May 28, 2021
केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, ‘पश्चिम बंगाल का आज का घटनाक्रम स्तब्ध करने वाला है. मुख्यमंत्री व प्रधानमंत्री व्यक्ति नहीं संस्था है. दोनों जन सेवा का संकल्प और संविधान के प्रति निष्ठा की शपथ लेकर दायित्व ग्रहण करते हैं.’
पश्चिम बंगाल का आज का घटनाक्रम स्तब्ध करने वाला है। मुख्यमंत्री व प्रधानमंत्री व्यक्ति नहीं संस्था है। दोनों जन सेवा का संकल्प और संविधान के प्रति निष्ठा की शपथ लेकर दायित्व ग्रहण करते हैं।
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) May 28, 2021
स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने कहा, ‘सुश्री @MamataOfficial जी का असहयोगात्मक व तानाशाही रवैया लोकतांत्रिक मूल्यों का अपमान है. PM श्री @narendramodi जी की बैठक में उनका न जाना ओछी राजनीति का परिचायक है.’
सुश्री@MamataOfficial जी का असहयोगात्मक व तानाशाही रवैया लोकतांत्रिक मूल्यों का अपमान है। PM श्री @narendramodi जी की बैठक में उनका न जाना ओछी राजनीति का परिचायक है।@PMOIndia @BJP4India
— Dr Harsh Vardhan (@drharshvardhan) May 28, 2021
बाबुल सुप्रियो, स्मृति ईरानी, नितिन गडकरी समेत कई अन्य मंत्रियों ने भी ममता बनर्जी पर ट्वीट कर निशाना साधा.
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