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Wednesday, 4 December, 2024
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चंद्रबाबू के बेटे ने कहा — TDP प्रमुख की जान को खतरा, ‘जगन सरकार ने की स्टेरॉयड देने की कोशिश’

नारा लोकेश ने यह आरोप उस दिन लगाया जब उन्होंने कहा था कि अमित शाह ‘चंद्रबाबू की गिरफ्तारी को बीजेपी को फंसाने की कोशिश के तौर पर देखते हैं.’ उन्होंने बुधवार को गृह मंत्री से मुलाकात की थी.

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हैदराबाद: तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) प्रमुख चंद्रबाबू नायडू के बेटे नारा लोकेश ने आरोप लगाया कि जगनमोहन रेड्डी सरकार राजमुंदरी जेल में बंद उनके पिता को स्टेरॉयड देने की कोशिश कर रही है.

यह कहते हुए कि विपक्षी नेता की जान को खतरा है, लोकेश ने शुक्रवार को एक्स पर पोस्ट किया, “अगर नायडू को कोई नुकसान होता है तो सीएम जगन जिम्मेदार होंगे.”

सीबीएन के ज़िंदगी को खतरा है और उन्हें जानबूझ कर नुकसान भी पहुंचाया जा रहा है. उनकी सुरक्षा निस्संदेह खतरे में है.

सीबीएन गंभीर स्थिति का सामना कर रहे हैं, मच्छरों, दूषित पानी, वजन घटाने, संक्रमण और एलर्जी से निपट रहे हैं, क्योंकि समय पर उन तक सुविधाएं नहीं पहुंच रही हैं… – लोकेश नारा (@naralokesh) 13 अक्टूबर, 2023

डॉक्टरों की एक टीम ने गुरुवार को जेल के अंदर आंध्र प्रदेश के पूर्व सीएम की जांच की और कथित तौर पर पाया कि नायडू डिहाइड्रेशन से पीड़ित हैं, एक ऐसी एलर्जी जिससे स्किन पर रैशेज़ बन जाते हैं और वजन भी घटने लगता है.

लोकेश नारा जो इस समय नई दिल्ली में हैं, और उनसे पूछताछ की जा रही है, “राज्य सरकार उन्हें स्टेरॉयड देने की कोशिश कर रहे हैं. ऐसा क्या है जिसे सरकारी डॉक्टर और प्रशासन छिपाना चाह रहे हैं?”

दिप्रिंट ने आंध्र प्रदेश के जेल और सुधार सेवाओं के महानिदेशक हरीश कुमार गुप्ता को कॉल और संदेश से संपर्क करने की कोशिश की है, लेकिन कोई प्रतिक्रिया नहीं मिल पाई है.

लोकेश के आरोप ऐसे समय में आए हैं जब उनके पिता की ज़मानत और कौशल विकास मामले को रद्द करने की याचिकाएं अदालतों में हैं.

लोकेश के आरोपों के तुरंत बाद टीडीपी नेताओं ने अमरावती के पास ताडेपल्ली में जगन के कैंप कार्यालय की ओर मार्च करने की कोशिश की, जिससे पुलिस के साथ विवाद हुआ और स्थिति तनावपूर्ण हो गई.

टीडीपी नेताओं ने कथित तौर पर कहा कि वे नायडू के स्थानांतरण और मंगलागिरी में केंद्र सरकार द्वारा प्रशासित एम्स में इलाज की मांग के लिए मुख्यमंत्री को एक ज्ञापन सौंपना चाहते हैं.

बुधवार को पिछली टीडीपी सरकार में मंत्री लोकेश ने नई दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की और उन्हें बताया कि “नायडू को भयावह परिस्थितियों में जेल में रखा गया है” और “उनकी जान को खतरा है”.

राज्य के सीआईडी अधिकारियों ने कौशल विकास परियोजना मामले में नायडू को 9 सितंबर को नंदयाला शहर से गिरफ्तार किया था. पूर्व सीएम आंध्र प्रदेश फाइबरग्रिड, अमरावती इनर रिंग रोड पुनर्संरेखण और अन्नामय्या जिले के अंगल्लू गांव में दंगों के मामले में भी आरोपी हैं, जिनकी विभिन्न स्तरों पर अदालतों द्वारा समीक्षा की जा रही है.

नायडू 371 करोड़ रुपये के आंध्र प्रदेश कौशल विकास परियोजना घोटाले में गिरफ्तारी के एक दिन बाद 10 सितंबर से केंद्रीय जेल में न्यायिक हिरासत में हैं, जो कथित तौर पर तब हुआ था जब वह 2014 से 2019 तक मुख्यमंत्री थे.

लोकेश, उनकी मां भुवनेश्वरी और उनकी पत्नी ब्राह्मणी, जो जेल में नायडू से मिल चुके हैं, जेल के अंदर उनके स्वास्थ्य और सुरक्षा के बारे में गंभीर चिंता व्यक्त कर रहे हैं.

भुवनेश्वरी और ब्राह्मणी ने भी शुक्रवार को एक्स पर पोस्ट कर टीडीपी प्रमुख की भलाई के लिए चिंता व्यक्त की.

जगनमोहन रेड्डी को राजनीतिक प्रतिशोध लेने की अनुमति देने के लिए अपने पिता पर दर्ज़ मामलों को झूठा बताते हुए गुरुवार को लोकेश ने नई दिल्ली में संवाददाताओं से कहा कि उन्होंने शाह से “सच्चाई का पक्ष” लेने के लिए कहा.

उन्होंने कहा, “जब शाह ने नायडू के स्वास्थ्य और मामलों के बारे में पूछा, तो मैंने उनसे कहा कि झूठे मामले राजनीतिक प्रतिशोध के अलावा कुछ नहीं हैं. मैंने उनसे कहा कि वाईएसआरसीपी के सांसद, विधायक दावा कर रहे हैं कि इस सबके पीछे भाजपा है. बीजेपी की चुप्पी ने ऐसे आरोपों को गुंजाइश दी. इस पर गृह मंत्री ने जवाब दिया कि जगनमोहन रेड्डी भाजपा को फंसाने की कोशिश कर रहे हैं.”

लोकेश खुद कथित इनर रिंग रोड घोटाला मामले में आरोपी हैं. मामले के सिलसिले में सीआईडी ने उनसे मंगलवार और बुधवार को पूछताछ की.

इस बीच, विजयवाड़ा एसीबी अदालत, जिसने नायडू को न्यायिक हिरासत में भेजा था, ने अधिकारियों को फाइबरग्रिड मामले में पूर्व मुख्यमंत्री को सोमवार को उसके समक्ष पेश करने का आदेश दिया है. शुक्रवार को आंध्र प्रदेश हाई कोर्ट ने नायडू को अंगल्लू मामले में अग्रिम ज़मानत दे दी.

कौशल घोटाले में उनकी ज़मानत याचिका पर हाई कोर्ट में मंगलवार को सुनवाई होगी. कौशल घोटाला मामले में सुप्रीम कोर्ट रद्द याचिका पर सुनवाई कर रही है. नायडू ने फाइबरग्रिड मामले में पिछले सप्ताह हाई कोर्ट द्वारा अपनी अग्रिम ज़मानत खारिज किए जाने को चुनौती देते हुए शीर्ष अदालत का दरवाजा भी खटखटाया है.

(संपादन: फाल्गुनी शर्मा)

(इस खबर को अंग्रेज़ी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)


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