नई दिल्ली : सूचना और प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने सोमवार को कांग्रेस पर हमला करते हुए आरोप लगाया कि केंद्रीय अन्वेषण एजेंसी (सीबीआई) द्वारा जांच में सामने आया है कि इसने और अन्य दलों ने न्यूज़क्लिक प्लेटफॉर्म को मदद दी है.
अनुराग ठाकुर ने आरोप लगाया है, “News Click की फंडिंग एक विदेशी नेविल रॉय सिंघम ने की, जिसे पीछे से चीन द्वारा फंड दिया जाता था. भारत ने 2021 में ही News Click के बारे में खुलासा किया था कि कैसे विदेशी हाथ भारत के खिलाफ हैं. उस Anti India और Break India कैंपेन में कांग्रेस और विपक्षी दल भी उनके समर्थन में आए थे.”
राहुल गांधी की नकली मोहब्बत की दुकान में चीनी सामान साफ नजर आने लगा है।
चीन के प्रति प्यार दिखता था और भारत के खिलाफ दुष्प्रचार विदेशी जमीन से, विदेशी न्यूज एजेंसियों के माध्यम से प्रोपेगेंडा के तहत होता था।
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— BJP (@BJP4India) August 7, 2023
ठाकुर ने कहा, “राहुल गांधी की नकली मोहब्बत की दुकान में चीनी सामान साफ नजर आने लगा है. चीन के प्रति प्यार दिखता था और भारत के खिलाफ दुष्प्रचार विदेशी जमीन से, विदेशी न्यूज एजेंसियों के माध्यम से प्रोपेगेंडा के तहत होता था.”
कांग्रेस, चीन और न्यूज़क्लिक एक ही गर्भनाल से जुड़े हैं! pic.twitter.com/6iokPdm9QT
— Anurag Thakur (@ianuragthakur) August 7, 2023
एक रिपोर्ट, जिसमें बीजिंग का प्रोपेगैंडा फैलाने के मकसद से प्लटेफॉर्म पर चीनी फंडिंग की बात सामने के आई है, जिसके बाद, भारतीय जनता पार्टी ने सोमवार को न्यूजक्लिक प्लेटफॉर्म को सपोर्ट कने का आरोप लगाते हुए कांग्रेस पार्टी पर हमला बोला.
आज राजधानी दिल्ली में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान ठाकुर ने यह भी आरोप लगाया कि यूपीए के शासन के दौरान चीन ने कांग्रेस पार्टी के साथ एक समझौते पर हस्ताक्षर किया था और राजीव गांधी फाउंडेशन को भुगतान किया था.
अमेरिका स्थित अखबार द न्यूयॉर्क टाइम्स ने अपनी एक हालिया रिपोर्ट में कहा था कि एक शख्स, जिसकी पहचान लंबे वामपंथी उद्देश्यों, समाजवादी हितैषी के रूप में नेविल रॉय सिंघम के रूप में की गई है, ने चीनी सरकारी मीडिया मशीन के साथ मिलकर काम किया है और दुनियाभर में चीनी प्रोपेगैंडा के लिए आर्थिक मदद मुहैया कर रहा है.
केंद्रीय मंत्री ने कहा, “कांग्रेस, चीन और न्यूजक्लिक सभी के बीच गर्भनाल का नाता है. राहुल गांधी की नकली ‘मोहब्बत की दुकान’ में चीनी उत्पाद साफ नजर आ रहे हैं. चीन के प्रति उनका प्रेम देखा जा सकता है. उनका मकसद ‘भारत विरोधी’ और ‘भारत तोड़ो’ एजेंडा चलाना है.”
ठाकुर ने कहा, “नेविल रॉय सिंघम ने न्यूजक्लिक को फंड किया, और उन्हें खुद चीन फंड कर रहा है. नेविल रॉय चीनी प्रोपेगैंडा पार्टी की प्रोपेगैंडा शाखा के सीधे संपर्क में हैं. और इन तथ्यों को उन अखबारों ने उजागर किया है, जिसकी कांग्रेस पार्टी ने जमकर तारीफ की है.”
केंद्रीय मंत्री ने आरोप लगाया कि जब बीजेपी के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार न्यूजक्लिक के खिलाफ कार्रवाई कर रही थी, तो कांग्रेस और बाकी विपक्षी दल इसके समर्थन में उतर आए थे.
ठाकुर ने कहा, “2021 में हमने न्यूजक्लिक को बेनकाब किया कि किस तरह इसके जरिए भारत के खिलाफ विदेशी प्रोपेगैंडा का इस्तेमाल किया जाता है. लेकिन ये विपक्षी नेता न्यूजक्लिक के समर्थन में आए और आरोप लगाया कि केंद्र प्रेस की स्वतंत्रता पर अंकुश लगा रहा है. हालांकि, चीनी कंपनियां अपने सेल्समैन मुगल नेविल रॉय सिंघम के जरिए न्यूज़क्लिक को फंडिंग कर रही थीं, जिसमें भारत के कुछ लोग शामिल थे. जब इनके खिलाफ कार्रवाई की गई तो ये लोग समर्थन में आ गए. उन्होंने चीन के एजेंडे को फैलाने और गलत प्रोपेगैंडा के जरिए भारत की जनता को गुमराह करने की कोशिश की. ये लोग ‘फ्री समाचार’ के नाम पर ‘फेक न्यूज’ फैलाते हैं.”
बीजेपी नेता ने कहा कि जबकि यूपीए शासन के दौरान केंद्रीय जांच एजेंसी (सीबीआई) और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ‘पिंजरे में बंद तोते’ की तरह हुआ करते थे, ये एजेंसियां अब न्यूजक्लिक जैसे प्लेटफॉर्म्स के खिलाफ एक्शन ले रही हैं.
केंद्रीय मंत्री ने कहा, “हम ‘टुकड़े-टुकड़े’ नैरेटिव को सफल नहीं होने देंगे. यह गलत सूचना के खिलाफ एक युद्ध है और यह जारी रहना चाहिए.”
इसके अलावा, ठाकुर ने आरोप लगाया कि बीजिंग ओलंपिक 2008 के दौरान कांग्रेस पार्टी ने चीन के साथ एक समझौते पर साइन किया, जिसके तहत राजीव गांधी फाउंडेशन को भुगतान किया गया था.
ठाकुर ने कहा, “जब राहुल और सोनिया गांधी बीजिंग ओलंपिक 2008 के दौरान चीन गए थे, तो उन्होंने एक समझौते पर साइन किया, जिसके तहत उच्चस्तरीय आदान-प्रदान होना था. इस समझौते के तहत, राजीव गांधी फाउंडेशन को भी एक भुगतान किया गया. और इस समझौते पर किसी और ने नहीं, बल्कि शी जिनपिंग और राहुल गांधी ने हस्ताक्षर किए थे.”
उन्होंने कहा, “इस समझौते में जो था, वह जुलाई 2017 में सामने आया, जब चीन ने हमारी जमीन पर अतिक्रमण करने का प्रयास किया. उस समय, राहुल गांधी चीनी अधिकारियों के साथ हाथ मिला रहे थे और खाना खा रहे थे. फिर, कैंब्रिज में राहुल गांधी ने चीन को “प्रकृति की ताकत” और “महत्वाकांक्षी महाशक्ति” कहते हुए जमकर तारीफ की.
विपक्षी दलों पर हमला बोलते हुए केंद्रीय मंत्री ने न्यूजक्लिक को सपोर्ट करने को लेकर ‘जवाब’ मांगा.
ठाकुर ने कहा, “मेरा सवाल कांग्रेस और बाकी सभी विपक्षी दलों से है, जिन्होंने न्यूजक्लिक को, भारत विरोधी एजेंडा फैलाने के दौरान सपोर्ट किया. आज, जब एक विदेशी अखबार ने उनके एजेंडे का खुलासा किया है, क्या वे देश को जवाब देंगे? मैं पूछना चाहता हूं कि राजीव गांधी फाउंडेशन का पैसा कहां खर्च हुआ? चीन के साथ उच्चस्तरीय बैठक में क्या हुआ? क्या कांग्रेस और न्यूजक्लिक भारत विरोधी गर्भनाल का हिस्सा हैं? और, मैं अहंकारी विपक्षी गुट के बाकी दलों से भी पूछना चाहता हूं कि उन्हें क्या लाभ हुआ?”
इस बीच, एनवाईटी की रिपोर्ट ने जिक्र किया है कि चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के तहत, चीन ने स्टेट मीडिया का विस्तार किया, अन्य देशों में स्थित आउटलेट्स के साथ मिलकर काम किया और विदेशी प्रभावशाली लोग तैयार किए. उनका मकसद एक स्वतंत्र कंटेंट के रूप में छद्म प्रोपेगैंडा फैलाना है.
यूएस डेली की रिपोर्ट के मुताबिक, सिंघम के ग्रुप ने यूट्यूब वीडियोज बनाए, जिसने लाखों व्यूज बटोरे. वे कांग्रेस के सहयोगियों के साथ बैठक करके, अफ्रीका में सांसदों को प्रशिक्षण देकर, दक्षिण अफ़्रीकी चुनावों में उम्मीदवारों को खड़ा करके और लंदन में हिंसा भड़काने वाले विरोध प्रदर्शनों का आयोजन करके वास्तविक दुनिया की राजनीति को प्रभावित करना चाहते हैं.
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