scorecardresearch
Sunday, 22 December, 2024
होमराजनीतिAAP विधायकों को भगवंत मान का संदेश- कोई ग़ुस्सा नहीं, सरकार के प्रभार संभालने से पहले कोई आदेश जारी न करें

AAP विधायकों को भगवंत मान का संदेश- कोई ग़ुस्सा नहीं, सरकार के प्रभार संभालने से पहले कोई आदेश जारी न करें

दो विशेष घटनाएं हुईं जिनकी वजह से मंगलवार को, नामित- CM के ऑफिस से संदेश जारी किया गया. मान बुधवार को मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने जा रहे हैं.

Text Size:

चंडीगढ़: दिप्रिंट को पता चला है कि पंजाब में मंगलवार के दिन आम आदमी पार्टी (आप) विधायकों को, नामित- सीएम भगवंत मान के ऑफिस से संदेश से एक कड़ा संदेश जारी किया है, जिसमें उन्हें सार्वजनिक रूप से उग्र-व्यवहार से परहेज़ करने, और सरकार के आधिकारिक रूप से प्रभार संभालने से पहले, जनसेवकों को निर्देश जारी करने से बचने के लिए कहा गया है.

मान बुधवार को मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने जा रहे हैं. आप ने 10 मार्च को पंजाब चुनाव जीते थे, जिनमें उसे 117 में से 92 सीटों के साथ तीन चौथाई से अधिक बहुत हासिल हुआ था.

मान के एक क़रीबी सहयोगी ने, जो अपना नाम छिपाना चाहते थे, कहा कि मंगलवार को नामित- CM के ऑफिस से ये संदेश, दो विशेष घटनाओं के बाद जारी किया गया.

पहली घटना में, एक विधायक जो अपने चुनाव क्षेत्र में एक अस्पताल के औचक निरीक्षण के लिए गए, उस समय ग़ुस्सा हो गए जब उन्होंने एक चिकित्सा अधिकारी को नशे की हालत में पाया. वो घटना कैमरे में क़ैद हो गई, और उसका एक वीडियो सोशल मीडिया पर चलना शुरू हो गया.

वीडियो में शुतराना चुनाव क्षेत्र से विधायक कुलवंत सिंह बाज़ीगर को, ये कहकर अस्पताल स्टाफ को डांटते हुए देखा जा सकता था: ‘अपना व्यवहार बदल लो वरना आप लोगों का, पाकिस्तान सीमा के पास पठानकोट तबादला कर दिया जाएगा’.

दूसरी घटना एक अन्य विधायक की थी, जिसने 14 मार्च को सिलसिलेवार आदेश ‘पास’ कर दिए, और उनके बारे में सोशल मीडिया पर पोस्ट कर दिया, हालांकि पार्टी के कई वरिष्ठ अधिकारियों ने कहा, कि उनमें से कुछ आदेश किसी विधायक ऑफिस के कार्यक्षेत्र से बाहर थे.

आनंदपुर साहेब से आप विधायक हरजोत सिंह बैंस ने आदेशों के बारे में पोस्ट कर दिया, जिनमें विभागों को ये सुनिश्चित करने के कहा गया था, कि आनंदपुर साहेब में कोई अवैध खनन न हो, और किसी मनरेगा श्रमिक को किसी राजनेता के घर या फार्म पर काम करने के लिए मजबूर न किया जाए. उन्होंने अपने चुनाव क्षेत्र में पंचायतों से कुछ विकास कार्यों के लिए कोटेशन स्वीकार करने के लिए कहा, और अपने ज़िले में, जहां एक प्रमुख गुरुद्वारा है, आने वाले श्रद्धालुओं के लिए 19 मार्च तक टोल टैक्स में छूट दे दी.

बैंस ने एक ट्वीट में कहा कि उन्हें (आप के राष्ट्रीय संयोजक) अरविंद केजरीवाल के राजनीतिक स्कूल का शिष्य होने पर गर्व है’.

दिप्रिंट ने बैंस और बाज़ीगर दोनों से, फोन कॉल्स और टेक्स्ट के ज़रिए संपर्क किया, लेकिन इस ख़बर के प्रकाशित होने तक, उन्होंने इस विषय पर कोई टिप्पणी नहीं की थी.


यह भी पढ़ें : ‘मास्टरजी का बेटा’, स्टैंड-अप स्टार से लेकर ‘पेगवंत’ तक: कॉलेज ड्रॉपआउट भगवंत मान कैसे बने पंजाब के CM


‘सावधान रहें’

पंजाब स्थित एक वरिष्ठ नेता ने, जो अपना नाम नहीं बताना चाहते थे, कहा: ‘विधायकों को सार्वजनिक जीवन में अपने आचरण को लेकर बहुत ध्यान से रहना है. अगर उन्हें किसी बात पर सही तौर से ग़ुस्सा आता भी है, तो भी उन्हें इसके इज़हार को लेकर सावधान रहना चाहिए. एक भी ग़लत काम उल्टा पड़ सकता है’.

उन्होंने आगे कहा: ‘इसके अलावा, जब तक सरकार आधिकारिक रूप से कार्यभार नहीं संभालती, तब तक विधायकों को आदेश जारी करने से बचना चाहिए. ऐसे बहुत से आदेश उनके ऑफिस के कार्य-श्रेत्र, और प्रशासनिक अधिकार क्षेत्र से बाहर हैं. उन्हें ये बात समझनी होगी. शीर्ष नेतृत्व की ओर से ये संदेश ज़रूरी था’.

दिप्रिंट ने पिछले हफ्ते ख़बर दी थी, कि पंजाब में आप विधायक किस तरह बिना कोई समय गंवाए, चुनावी वादे पूरा करने की अपनी उत्सुकता साबित करने में लगे हैं. उनमें से कुछ ने स्कूलों, अस्पतालों और जन कार्यालयों के दौरे शुरू कर दिए, जब मान ने उनसे कहा कि प्रदेश की राजधानी चंडीगढ़ में समय बिताने की जगह, उन्हें अपने चुनाव क्षेत्रों में ज़्यादा काम करना चाहिए.

(इस खबर को अंग्रेजी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें )


यह भी पढ़ें : भगत सिंह के पिंड का भगवंत मान के लिए संदेश: उनके सिद्धांतों पर चलिए वरना कूड़ेदान में पहुंच जाएंगे


 

share & View comments