scorecardresearch
Friday, 15 November, 2024
होमदेशमैगसेसे अवाॅर्डी संदीप पांडे का आरोप, धारा 370 हटाए जाने के खिलाफ कैंडल मार्च से पहले पुलिस ने किया नजरबंद

मैगसेसे अवाॅर्डी संदीप पांडे का आरोप, धारा 370 हटाए जाने के खिलाफ कैंडल मार्च से पहले पुलिस ने किया नजरबंद

संदीप का कहना है कि वह पुलिस के कहने पर कैंडिल मार्च का प्लान रविवार की बजाए 16 अगस्त को रखने का मन बना चुके थे. लेकिन इसके बावजूद उन्हें और उनकी पत्नी को लगभग 5 घंटे तक हाउस अरेस्ट करके रखा गया.

Text Size:

लखनऊ : सामाजिक कार्यकर्ता और मैगसेसे अवाॅर्डी संदीप पांडेय ने आरोप लगाया है कि धारा 370 हटाए जाने के खिलाफ कैंडल मार्च निकाले जाने से उन्हें रोका जा रहा है. वह रविवार को अपने साथियों के साथ लखनऊ के हजरतगंज स्थित गांधी प्रतिमा पर कैंडल मार्च निकालना चाहते थे. लेकिन सुबह 11 बजे से दोपहर 4 बजे तक पुलिस ने उन्हें हाउस अरेस्ट कर लिया. हालांकि, संदीप का कहना है कि वह पुलिस के कहने पर कैंडिल मार्च का प्लान रविवार की बजाए 16 अगस्त को रखने का मन बना चुके थे. लेकिन इसके बावजूद उन्हें और उनकी पत्नी को लगभग 5 घंटे तक हाउस अरेस्ट करके रखा गया.

दिप्रिंट से बातचीत में संदीप ने बताया कि लखनऊ के जीपीओ पार्क में रविवार शाम ‘स्टैंड फॉर कश्मीर’ विरोध प्रदर्शन का आयोजन होने वाला था. इसमें कैंडल मार्च की भी तैयारी थी. लेकिन प्रशासन का कहना था कि बकरीद व स्वतंत्रता दिवस की सुरक्षा व्यवस्था के कारण इस तरह के प्रोटेस्ट न किए जाएं. इस पर संदीप राजी हो गए. लेकिन रविवार सुबह लगभग 11 बजे कुछ पुलिस वाले अपनी जीप से थाना गाजीपुर क्षेत्र स्थित उनके घर पर आए और कहा कि धारा 144 लागू होने के कारण आप हजरतगंज में प्रोटेस्ट नहीं कर सकते.

मैगसेसे अवाॅर्डी संदीप पांडे । फोटो साभार : प्रशांत श्रीवास्तव / दिप्रिंट

संदीप के मुताबिक, ‘मैंने उनसे कहा कि हम अब 16 अगस्त को धरना-प्रदर्शन करेंगे. फिर भी वे मेरे घर के बाहर खड़े हैं. किसी को भी घर के अंदर आने व घर के बाहर जाने नहीं दिया गया. उन्होंने पुलिस वालों को काफी समझाया तब जाकर दोपहर चार बजे पुलिस की गाड़ी उनके घर से गई. वहीं उनकी पत्नी अरुं धती धुरु, जो नेशनल एलायंस ऑफ पीपल्स मूवमेंट (एनएपीएम) की राष्ट्रीय संयोजक हैं, उन्हें भी इतनी देर तक घर में नजरबंद रखा.

पुलिस ने किया इंकार

गाजीपुर थाना प्रभारी बृजेश सिंह ने ऐसी किसी भी घटना से इंकार किया है. उनका कहना है कि संदीप पांडे के आरोप गलत हैं. उन्हें हाउस अरेस्ट नहीं किया गया. वहीं लखनऊ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) ने इस मामले में फोन का जवाब नहीं दिया. बता दें कि संदीप पांडेय ने साल 2002 में इमर्जेट लीडरशिप श्रेणी में रेमन मैगसेसे अवार्ड जीता था. यूपी में वह एक समाजिक कार्यकर्ता के तौर पर जाने जाते हैं. संदीप का कहना है कि वह हाउस अरेस्ट से डरने वाले नहीं अब 16 अगस्त को धारा 370 हटाए जाने के विरोध में कैंडिल मार्च निकालेंगे.

share & View comments