अगरतला, 16 सितंबर (भाषा) त्रिपुरा में विपक्षी दल मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) ने अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले राज्य सरकार द्वारा संचालित एक छात्रावास के परिसर में उत्तर प्रदेश की पंजीकरण संख्या वाली कई मोटरसाइकिलों के खड़े होने के मामले में जांच की मांग की है।
सिविल सचिवालय के पास सरकारी शहीद भगत सिंह युवा छात्रावास की पार्किंग में पिछले एक सप्ताह से उत्तर प्रदेश के पंजीकरण वाली अनेक मोटरसाइकिल खड़ी थीं।
त्रिपुरा के मुख्य सचिव को बृहस्पतिवार को लिखे एक पत्र में, माकपा के राज्य सचिव जितेंद्र चौधरी ने कहा, पिछले सप्ताह से सरकार द्वारा संचालित छात्रावास के परिसर में उत्तर प्रदेश के पंजीकरण वाली कई मोटरसाइकिल खड़ी हैं।
उन्होंने मुख्य सचिव को लिखे पत्र में कहा, ”सरकार ने अभी तक यह नहीं बताया है कि मोटरसाइकिल उत्तर प्रदेश में किसके नाम पर पंजीकृत हैं। इन मोटरसाइकिल मालिकों ने उन्हें त्रिपुरा ले जाने की अनुमति क्यों दी?”
चौधरी ने आरोप लगाया, ”2018 में हुए पिछले विधानसभा चुनाव से पहले, भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने अपने कार्यकर्ताओं के बीच सैकड़ों की संख्या में बाइक वितरित की थीं, जिनका इस्तेमाल विपक्षी समर्थकों को परेशान करने और आम लोगों के लोकतांत्रिक अधिकारों का हनन करने के लिए किया गया था।”
उन्होंने पत्र में यह भी कहा, चूंकि राज्य विधानसभा चुनाव अगले साल की शुरुआत में होने हैं, इसलिए लोगों के पास यह मानने का कारण है कि विधानसभा चुनाव 2023 में लोगों, विशेषकर विपक्षी पार्टी के समर्थकों के ”मतदान के अधिकारों को छीनने” के लिए इन मोटरसाइकिल का दुरुपयोग किया जाएगा।
उन्होंने कहा, ”उक्त मामले का पता लगाने के लिए सक्षम प्राधिकारी के समक्ष निष्पक्ष जांच का आदेश देने का अनुरोध किया जाता है कि इन मोटरसाइकिलों को किसने और किस उद्देश्य से खरीदा था और क्या इन्हें कानूनी रूप से त्रिपुरा में लाया गया था।”
इससे पहले तृणमूल कांग्रेस की राज्यसभा सदस्य सुष्मिता देव ने पुलिस महानिदेशक को पत्र लिखकर राज्य में उत्तर प्रदेश के पंजीकरण वाली अनेक मोटरसाइकिल की खरीद के प्रकरण की जांच की मांग की थी।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (पश्चिम), अनिर्बान दास ने शुक्रवार को ”पीटीआई-भाषा” को बताया, ”हमें उत्तर प्रदेश पंजीकरण संख्या वाली मोटरसाइकिलों की मौजूदगी को लेकर किसी भी तरफ से कोई शिकायत नहीं मिली है। इसके अलावा, अगरतला में उत्तर प्रदेश के पंजीकरण वाली मोटरसाइकिलों की मौजूदगी कोई असामान्य मामला नहीं है।”
उन्होंने कहा कि अगर कोई विशेष शिकायत या निर्देश उनके संज्ञान में आता है तो पुलिस कार्रवाई करेगी।
भाषा फाल्गुनी वैभव
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