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रविवार, 1 जून, 2025
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मूर्ति विसर्जन के दौरान मौत मामले में तृणमूल-भाजपा में जुबानी जंग, अनुग्रह राशि का ऐलान

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(तस्वीरों के साथ)

कोलकाता, छह अक्टूबर (भाषा) पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी जिले में दुर्गा प्रतिमाओं के विसर्जन के दौरान मल नदी में अचानक बढ़े पानी के कारण तेज बहाव की चपेट में आकर आठ लोगों की मौत को लेकर बृहस्पतिवार को तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के बीच जुबानी जंग छिड़ गयी। भाजपा ने प्रशासन पर सुरक्षा के पर्याप्त उपाय न करने का आरोप लगाया है।

सत्तारूढ़ टीएमसी ने इन आरोपों को निराधार बताया है और भाजपा से अपील की है कि वह राज्य की प्रत्येक घटनाओं के राजनीतिकरण के प्रयास की ‘गिद्ध राजनीति’ न करे।

इस दर्दनाक हादसे पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पीड़ित परिवारों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए अनुग्रह राशि की घोषणा की। प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री बनर्जी ने जान गंवाने वाले लोगों के परिवार वालों को दो-दो लाख रुपये, जबकि घायलों को भी 50-50 हजार रुपये दिए जाने की घोषणा की है।

यह घटना बुधवार रात करीब साढ़े आठ बजे की है, जब विसर्जन समारोह में शामिल होने के लिए सैकड़ों की संख्या में लोग मल नदी के किनारे जमा हुए थे।

प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) की ओर से जारी एक ट्वीट के मुताबिक मोदी ने कहा, ‘‘पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी में दुर्गा पूजा उत्सव के दौरान हुई दुर्घटना से दुखी हूं। मेरी संवेदनाएं अपने प्रियजन को खोने वालों के साथ हैं।’’

पीएमओ के अनुसार, जान गंवाने वाले लोगों के परिवार वालों को प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष (पीएमएनआरएफ) से दो-दो लाख रुपये और घायलों को 50-50 हजार रुपये दिए जाएंगे।

पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने ट्वीट किया कि जलपाईगुड़ी जिले की मल नदी में दुर्गा विसर्जन के दौरान अचानक नदी में पानी बढ़ने से आठ लोगों की मौत हो गई। मैं प्रार्थना करती हूं कि इस मुश्किल घड़ी में परिवार को यह दुख सहने की ताकत मिले।

एक अधिकारी ने बताया कि मृतकों में पांच महिलाएं और 17 वर्षीय एक लड़का शामिल है।

बनर्जी ने ट्वीट किया, ‘‘ हादसे में जान गंवाने वाले लोगों के परिवार वालों को दो-दो लाख रुपये और घायलों को 50-50 हजार रुपये दिए जाएंगे। ’’

मुख्यमंत्री ने बताया कि 13 लोगों का मल सुपर स्पेशलिटी अस्पताल में इलाज चल रहा है।

उन्होंने कहा, ‘‘ पुलिस, नागरिक सुरक्षा के स्वयंसेवकों तथा स्थानीय युवाओं ने करीब 70 लोगों को बचाया है। मैं उनकी निस्वार्थ सेवा की सराहना करती हूं। अब किसी के लापता होने की कोई खबर नहीं है। हालांकि एनडीआरएफ (राष्ट्रीय आपदा मोचन बल), एसडीआरएफ (राज्य आपदा मोचन बल) का खोज एवं बचाव अभियान जारी है।’’

जलपाईगुड़ी की जिलाधिकारी मौमिता गोदारा ने बताया कि बृहस्पतिवार दोपहर तक 100 से अधिक लोगों को बचाया जा चुका है।

गोदारा ने कहा, “अचानक बाढ़ आई और लोग बह गए। घटना के वक्त करीब 400-500 लोग किनारे पर खड़े थे। अब तक आठ शव निकाले जा चुके हैं और हमने करीब 100 लोगों को बचाया है।”

उन्होंने इन आरोपों का खंडन किया कि प्रशासन ने ऐसी घटना को रोकने के लिए पर्याप्त सुरक्षा उपाय नहीं किए थे।

उन्होंने कहा, “हर साल दुर्गा की मूर्तियों का विसर्जन इसी जगह होता है और सभी सुरक्षा उपाय किए गए थे, लेकिन अगर अचानक बाढ़ आ जाए तो इसमें क्या किया जा सकता है? इसके बाद एक भी पल बर्बाद नहीं हुआ और तुरंत बचाव अभियान शुरू किया गया।”

राज्य विधानसभा में विपक्ष के नेता और भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी ने आरोप लगाया कि राज्य सरकार की ओर से श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने में खामियां थीं।

अधिकारी ने कहा, “यह राज्य सरकार की जिम्मेदारी है कि वह श्रद्धालुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करे। प्रशासन को और सावधान रहना चाहिए था, क्योंकि पहाड़ी इलाकों में अचानक बाढ़ आना सामान्य बात है। साथ ही मौत के आंकड़े भी स्पष्ट नहीं हैं।”

उत्तर बंगाल विकास मंत्री उदयन गुहा ने प्रशासन द्वारा लापरवाही बरते जाने संबंधी भाजपा के आरोपों को निराधार बताया।

उन्होंने कहा, “इस स्थान का इस्तेमाल पिछले कई वर्षों से नदी में मूर्तियों को विसर्जित करने के लिए किया जाता रहा है। अगर हमने लोगों को मौके पर इकट्ठा होने से रोका होता, तो हम पर उन्हें धार्मिक अनुष्ठान करने की अनुमति न देने का आरोप लगाया जाता। हमने राहत और बचाव के लिए तुरंत सभी कदम उठाए।”

तृणमूल कांग्रेस के राज्य महासचिव कुणाल घोष ने कहा कि भाजपा को हर चीज का राजनीतिकरण करने की आदत छोड़ देनी चाहिए।

उन्होंने कहा, “भाजपा को अपनी ‘गिद्ध राजनीति’ बंद करनी चाहिए, क्योंकि इसका कोई नतीजा नहीं निकलेगा। राज्य सरकार ने उचित सुरक्षा और बचाव एवं राहत अभियान सुनिश्चित करने के लिए पर्याप्त कदम उठाए हैं।”

इससे पहले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक मनोज तिग्गा घटनास्थल पर पहुंचे और कहा कि प्रशासन को ऐसी स्थिति से निपटने के लिए अधिक सतर्क रहना चाहिए।

मल से तृणमूल विधायक बुलु चिक बराइक ने कहा कि विजय दशमी पर हर साल मां दुर्गा की प्रतिमाओं का विसर्जन किया जाता है। नदी पहाड़ी इलाकों से गुजरती है, ऊपरी जलग्रहण क्षेत्र में भारी बारिश के कारण जल स्तर अचानक बढ़ गया।

भाषा सुरेश प्रशांत

प्रशांत

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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