नई दिल्ली: किसान संगठनों और सरकार के बीच बैठक के बाद केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने बताया कि हमारे बीच 50 फीसदी सहमति बन गई है. चार मुद्दों में दो पर सहमति बन गई है, दो पर बैठक 4 जनवरी को होगी.
केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि कार्यसूची में 4 विषय थे, इनमें से 2 पर रजामंदी हो गई है. इससे दोनों पक्षों में एक अच्छा माहौल बना. किसान यूनियन 3 क़ानूनों को वापिस लेने की बात करती रही हैं। हमने ये बताने की कोशिश की है कि जहां समस्या है, वहां सरकार विचार करने को तैयार है.
तोमर ने कहा कि पर्यावरण संबंधी अध्यादेश और इलेक्ट्रिसिटी के मुद्दे पर रजामंदी हुई है.
तोमर ने कहा कि इलेक्ट्रिसिटी एक्ट जो अभी नहीं आया है किसानों को आशंका है कि इससे उनका नुकासन होगा. इसमें किसानों की मांग थी सब्सिडी की व्यवस्था जैसी थी वैसी चलनी चाहिए. इस पर हमारी राजमंदी हुई है.
उन्होंने कहा क़ानून के विषय में और MSP के विषय में चर्चा पूरी नहीं हुई है, चर्चा जारी है. हम लोग 4 तारीख (4 जनवरी 2021) को 2 बजे फिर से इकट्ठा होंगे और चर्चा को आगे बढ़ाएंगे.
तोमर ने क हा कि एमएसपी के विषय में भी यह जारी है, जारी रहेगी. उन्होंने कहा कि सरकार लिखित में देने को तौयार है. वे चाहते हैं इसे कानूनी दर्जा मिलनी चाहिए.
उन्होंने किसानों के आंदोलन की तारीफ करते हुए कहा कि किसान संयम बनाए हुए हैं, उम्मीद है कि इसे आगे भी बनाए रखेंगे.
उन्होंने फिर से अनुरोध किया है कि सर्दी का सीजन है जो बहुत बुजुर्ग हैं, बच्चे हैं उन्हे घर जाने का अनुरोध करते हैं.
तोमर ने कहा कि मोदी सरकार किसानों की आय दोगुनी करने की दिशा में काम कर रही है. वह किसानों को संवेदना की नजर से देखते हैं.
उन्होंने कहा कि उम्मीद की है कि सहमति बनेगी. एमएसपी और नए कानून पर विचार जारी रहेगी. उम्मीद है कि नये साल में हल निकलेगा
वहीं दूसरी तरफ बलकरण सिंह बराड़, ऑल इंडिया किसान सभा पंजाब नेता ने कहा कि सरकार ने बिजली के प्रस्तावित बिल को वापिस ले लिया है. पराली के मामले में सरकार ने अध्यादेश जारी किया था, उसे भी वापिस ले लिया है. MSP और कृषि क़ानूनों पर 4 तारीख को बात होगी.
बलविंदर सिंह, अध्यक्ष माझा किसान संघर्ष कमेटी, पंजाब ने कहा कि सरकार ने 2 मांग मान ली हैं. हमारे 2 विषय रह गए हैं- MSP और 3 कृषि क़ानून. इन दोनों विषय पर 4 तारीख को 2 बजे बात होगी. आज बहुत अच्छे माहौल में बैठक हुई.
अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति के नेता योगेंद्र यादव ने ट्वीट कर कहा है कि ‘अभी पूँछ निकली है, हाथी अभी बाकी है. किसानों ने 4 एजेंडा सरकार को भेजे थें पहले 2 महत्वपूर्ण एजेंडा पर अभी कोई सहमति नही बनी है. यही दो मुख्य मांग थी.’