भोपाल, नौ मार्च (भाषा) मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बुधवार को कहा कि राज्य के 2022-23 के वार्षिक बजट का उद्देश्य ‘आत्मनिर्भर मध्य प्रदेश’ बनाना है और इसे सिर्फ अर्थशास्त्रियों और अधिकारियों के ही नहीं बल्कि जनता के सुझाव पर भी तैयार किया गया है।
उन्होंने कहा कि बजट में सभी के लिए प्रावधान हैं और इसमें राज्य के हर क्षेत्र का संतुलित विकास सुनिश्चित किया है। उन्होंने कहा कि बजट में गरीबों के लिए मकान, बच्चों की शिक्षा, पेयजल, चिकित्सा और किसान कल्याण के लिए भी प्रावधान हैं।
चौहान ने कहा कि यह बच्चों के उज्जवल भविष्य का बजट है क्योंकि इसमें उनके स्वास्थ्य, पोषण और शिक्षा के लिए ‘बच्चों के लिए बजट’ के रूप में लगभग 57,803 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।
हालांकि, विपक्ष के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने बजट को ‘झूठ और भ्रम का पुलिंदा’ करार देते हुए कहा कि यह लोगों को धोखा देने वाला बजट है और इसमें किए गए प्रावधान सिर्फ कागजों पर हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि आज पेश बजट को 2023 के विधानसभा चुनाव को ध्यान में रखते हुए जनता को झूठे सपने दिखाने के लिए तैयार किया गया है।
उन्होंने कहा, ‘‘पिछले बजट में किए गए प्रावधानों को किस तरह लागू किया गया, इसका कोई उल्लेख नहीं है। कितने लोगों को रोजगार मिला, किसानों के लिए क्या किया, खासतौर से उर्वरक और बीज उपलब्ध कराने के लिए क्या किया गया, इसका बजट में कहीं कोई उल्लेख नहीं है।’’
कांग्रेस विधायक जयवर्धन सिंह ने प्रदेश के बजट को ‘जीरो’ अंक देते हुए कहा कि आत्मनिर्भर मध्य प्रदेश सिर्फ एक छलावा मात्र है। उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘भाजपा के राज (शासन) में केवल भाजपा विधायक आत्मनिर्भर हो रहे हैं जबकि किसान, युवा और मप्र की जनता तीन लाख करोड़ रुपये की कर्ज में डूबे हैं।’’
बजट में ‘चाइल्ड बजट’ के नाम से किए गए प्रावधानों पर उन्होंने कहा, ‘‘मध्य प्रदेश में बच्चों का कुपोषण स्तर चिंताजनक है।’’
भाषा दिमो अर्पणा
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