scorecardresearch
बुधवार, 21 मई, 2025
होमदेशबंगाल में चिकित्सकों के विरोध प्रदर्शन के कारण ‘महासप्तमी’ उत्सव का उत्साह फीका पड़ा

बंगाल में चिकित्सकों के विरोध प्रदर्शन के कारण ‘महासप्तमी’ उत्सव का उत्साह फीका पड़ा

Text Size:

(तस्वीरों के साथ)

कोलकाता, 10 अक्टूबर (भाषा) कोलकाता स्थित आरजी कर मेडिकल कॉलेज में एक कनिष्ठ चिकित्सक से कथित बलात्कार और उसकी हत्या के मामले में न्याय की मांग को लेकर जारी विरोध प्रदर्शनों का असर पश्चिम बंगाल में महासप्तमी के दिन दुर्गा पूजा उत्सव पर भी पड़ा।

राज्य में आमतौर पर इस उत्सव को हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है लेकिन विरोध प्रदर्शनों के कारण इस साल लोगों का उत्साह ठंडा है।

कोलकाता में सात और उत्तर बंगाल में दो कनिष्ठ चिकित्सक सरकारी अस्पतालों में सुरक्षा व्यवस्था मजबूत करने सहित विभिन्न मांगों को लेकर 119 घंटे से अधिक समय से भूख हड़ताल पर हैं।

वरिष्ठ एवं कनिष्ठ चिकित्सकों समेत आम नागरिक भी प्रदर्शनकारी चिकित्सकों की ‘अभया परिक्रमा रैली’ में शामिल हुए।

आरजी कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में महिला प्रशिक्षु चिकित्सक से नौ अगस्त को बलात्कार और उसकी हत्या की घटना के खिलाफ देशभर में प्रदर्शन हो रहे हैं।

इस घटना का असर दुर्गा पूजा को लेकर आम लोगों के उत्साह पर पड़ा है।

एक प्रदर्शनकारी ने रैली में कहा, ‘‘हम ऐसा त्योहार कैसे मना सकते हैं जो दिव्य शक्ति का महिमामंडन करता है, जबकि दूसरी ओर हम अपने राज्य में वास्तविक जीवन में महिलाओं के समक्ष मौजूद खतरों से आंखें मूंद लेते हैं? इस वर्ष, दुर्गा पूजा का मतलब केवल उत्सव मनाना नहीं है, यह महिलाओं की सुरक्षा और न्याय पर चर्चा करने का एक मंच भी है।’’

कनिष्ठ चिकित्सक देबाशीष हलधर ने कहा, ‘‘हम दुर्गा पूजा के खिलाफ नहीं हैं लेकिन हम इस उत्सव में शामिल नहीं होंगे क्योंकि हम सड़कों पर विरोध प्रदर्शन और भूख हड़ताल करेंगे। हमारे लिए उत्सव में शामिल होना न्याय का मजाक उड़ाना होगा।’’

कुछ दुर्गा पूजा पंडालों में ‘‘हमें न्याय चाहिए’’ के नारे सुनाई दिए तथा लोगों की भीड़ ने चिकित्सकों के साथ एकजुटता प्रदर्शित की।

भाषा सिम्मी सुभाष

सुभाष

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

share & View comments