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Saturday, 23 August, 2025
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सुंदरबन बनेगा भारत का दूसरा सबसे बड़ा टाइगर रिज़र्व, वाइल्डलाइफ बोर्ड ने दी मंज़ूरी

सुंदरबन देश के सबसे पुराने टाइगर रिज़र्व्स में से एक है, जिसे 1973 में स्थापित किया गया था. इसमें एक नेशनल पार्क भी है, जो यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज साइट है.

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नई दिल्ली: नेशनल बोर्ड फॉर वाइल्डलाइफ ने इस हफ्ते पश्चिम बंगाल सरकार के उस प्रस्ताव को मंज़ूरी दे दी है, जिसमें सुंदरबन टाइगर रिज़र्व का क्षेत्र बढ़ाने की बात कही गई थी. इस विस्तार के बाद आंध्र प्रदेश के नागार्जुनसागर-श्रीशैलम रिज़र्व के बाद, सुंदरबन देश का दूसरा सबसे बड़ा टाइगर रिज़र्व बन जाएगा.

पश्चिम बंगाल के वन विभाग के प्रधान सचिव देबल रे ने कहा, “इस फैसले के कई पहलू हैं, यह एक बहु-स्तरीय प्रक्रिया है. एनबीडब्ल्यूएल (NBWL) की मंज़ूरी मिलना निश्चित तौर पर एक अहम कदम है, लेकिन इसके अलावा भी कई चीज़ें हैं जिन्हें हमें लागू करना होगा, तभी विस्तार संभव हो पाएगा.”

फिलहाल सुंदरबन टाइगर रिज़र्व का कुल कोर क्षेत्र 1699.92 वर्ग किलोमीटर है, जिसमें 885.27 वर्ग किलोमीटर का अतिरिक्त बफर ज़ोन शामिल है. पश्चिम बंगाल वन विभाग ने तीन रेंज—मतला, रायदिघी और रामगंगा को मुख्य टाइगर रिज़र्व में शामिल करने का प्रस्ताव दिया है. इससे रिज़र्व का क्षेत्र 1044.68 वर्ग किलोमीटर और बढ़ जाएगा. तुलना के लिए, नागार्जुनसागर रिज़र्व का कुल क्षेत्र (बफर क्षेत्र सहित) 5937 वर्ग किलोमीटर है.

एक वरिष्ठ वन अधिकारी के मुताबिक, ये तीनों रेंज (मतला, रायदिघी और रामगंगा) दक्षिण 24 परगना ज़िले के भीतर हैं और इन्हें टाइगर रिज़र्व का हिस्सा बनाने से रिज़र्व और वन्यजीव दोनों का बेहतर प्रबंधन किया जा सकेगा.

2022 में सुंदरबन रिज़र्व के भीतर 81 बाघ देखे गए थे, जबकि 20 बाघ रिज़र्व से बाहर दक्षिण 24 परगना ज़िले में पाए गए थे. इनमें से एक बाघ दोनों क्षेत्रों में देखा गया था, जो इस बात का संकेत है कि बाघ कभी-कभी रिज़र्व से बाहर भी घूमते हैं.

डाउन टू अर्थ की एक रिपोर्ट के अनुसार, टाइगर रिज़र्व का क्षेत्र बढ़ाने का विचार पहली बार 2002 में आया था, लेकिन असली प्रस्ताव पश्चिम बंगाल सरकार ने 2022 में केंद्र को भेजा. यह प्रस्ताव कई विभागों के पास विचाराधीन रहा और 2024 में नेशनल टाइगर कंज़र्वेशन अथॉरिटी (जिसके प्रमुख केंद्रीय पर्यावरण मंत्री हैं) से तकनीकी मंज़ूरी मिली. अब इसे नेशनल बोर्ड फॉर वाइल्डलाइफ से भी मंज़ूरी मिल गई है, जिसके अध्यक्ष खुद प्रधानमंत्री हैं.

सुंदरबन देश के सबसे पुराने टाइगर रिज़र्व्स में से एक है, जिसे 1973 में प्रोजेक्ट टाइगर के साथ ही स्थापित किया गया था. इसके भीतर एक नेशनल पार्क भी है, जो यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज साइट है.

(इस रिपोर्ट को अंग्रेज़ी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)


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