तिरुवनंतपुरम, सात फरवरी (भाषा) मुख्यमंत्री पिनराई विजयन की बेटी की कंपनी के वित्तीय लेनदेन की जांच के तहत गंभीर धोखाधड़ी जांच कार्यालय (एसएफआईओ) की एक टीम ने बुधवार को यहां केरल राज्य औद्योगिक विकास निगम (केएसआईडीसी) के मुख्य कार्यालय का दौरा किया।
सरकारी उपक्रम केएसआईडीसी के मुख्य कार्यालय में तैनात एक वरिष्ठ अधिकारी ने एसएफआईओ टीम के आने की पुष्टि की लेकिन उन्होंने इस संबंध में अधिक जानकारी नहीं दी।
केंद्र सरकार ने हाल में कोचीन मिनरल्स एंड रूटाइल लिमिटेड (सीएमआरएल) और विजयन की पुत्री की कंपनी एक्सलॉजिक सॉल्यूशंस प्राइवेट लिमिटेड संबंधित वित्तीय अनियमितताओं के आरोपों को लेकर एसएफआईओ को जांच का आदेश दिया था।
इससे पहले केरल उच्च न्यायालय में एक याचिका दायर की गई थी जिसमें केएसआईडीसी, सरकारी इकाई सीएमआरएल और मुख्यमंत्री की बेटी की अब बंद हो चुकी कंपनी के खिलाफ एसएफआईओ जांच की मांग की गई थी।
उच्च न्यायालय में दायर याचिका में आरोप लगाया गया था कि ‘सरकारी तंत्र ने जानबूझकर सीएमआरएल में भ्रष्ट आचरण और अवैध कारोबार में सहायता प्रदान की।”
एसएफआईओ ने अपनी जांच के तहत सोमवार को सीएमआरएल के कोच्चि कार्यालय का कथित तौर पर निरीक्षण किया था।
पिछले साल एक मलयाली समाचार पत्र की खबर के बाद केरल में विवाद खड़ा हो गया था जिसमें कहा गया था कि सीएमआरएल ने 2017 से 2020 के बीच मुख्यमंत्री की बेटी वीणा टी को कुल 1.72 करोड़ रुपये का भुगतान किया।
खबर में निपटान संबंधी अंतरिम बोर्ड के एक फैसले का हवाला दिया गया और कहा गया कि सीएमआरएल ने पूर्व में परामर्श और सॉफ्टवेयर सहायता सेवाओं के लिए वीणा की सूचना प्रौद्योगिकी कंपनी के साथ एक समझौता किया था।
इसमें आरोप लगाया गया था कि वीणा की कंपनी द्वारा कोई सेवा प्रदान नहीं की गई थी लेकिन राशि का भुगतान ‘एक गणमान्य व्यक्ति के साथ उनके संबंधों के कारण’ मासिक आधार पर किया गया।
रिपोर्ट में यह भी आरोप लगाया गया कि इसके बाद कंपनी रजिस्ट्रार (आरओसी) ने उनकी कंपनी के खिलाफ टिप्पणी की।
आरओसी की रिपोर्ट का हवाला देते हुए कांग्रेस नीत विपक्षी गठबंधन यूनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (यूडीएफ) ने दावा किया था कि वीणा की कंपनी ने झूठे दस्तावेजों का उपयोग करते हुए और कोई सेवा प्रदान किए बिना धन प्राप्त किया।
भाषा अभिषेक अविनाश
अविनाश
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