नई दिल्लीः शीना बोहरा मर्डर केस में मुख्य आरोपी इंद्राणी मुखर्जी को सुप्रीम कोर्ट ने जमानत दे दी है. इससे पहले इंद्राणी मुखर्जी को बॉम्बे हाईकोर्ट से जमानत नहीं मिल सकी थी. इससे पहले करीब दो वर्ष पहले सीबीआई की एक विशेष अदालत ने भी उनकी उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी थी. तब उन्होंने कोरोना के खतरे को देखते हुए अस्थायी जमानत का अनुरोध किया था. इंद्राणी इस वक्त भायखला की महिला कारागार में बंद हैं. उसके पहले भी मेडिकल आधार पर चार बार जमानत याचिका खारिज की गई थी लेकिन उसे खारिज कर दिया गया था.
Supreme Court grants bail to Indrani Mukherjea, prime accused in Sheena Bora murder case.
— ANI (@ANI) May 18, 2022
दरअसल, इंद्राणी मुखर्जी को 2012 में अपनी बेटी शीना बोहरा की हत्या करने के आरोप में साल 2015 में गिरफ्तार किया गया था और तब से वह जेल में बंद हैं. बेटी की हत्या के आरोप में उन पर 24 अप्रैल 2012 से ही ट्रायल चल रहा है. उन पर आरोप है कि उन्होंने अपनी बेटी की गला दबाकर हत्या कर दी और लाश को रायगढ़ जिले में दफना दिया.
जांच एजेंसियों का दावा है कि शीना बोहरा के लाश के अवशेष मिले हैं लेकिन करीब 5 महीने पहले उन्होंने उस वक्त सबको चौंका दिया था जब उन्होंने दावा किया था कि शीना जिंदा है और कश्मीर में है. उन्होंने कहा था कि उनकी एक साथी कैदी ने उससे मुलाकात की है. इसके बाद उन्होंने सीबीआई से शीना की तलाश करने के लिए कहा था.
खबरों के मुताबिक शीना और इंद्राणी मुखर्जी के बीच संबंध अच्छे नहीं थे और आए दिन दोनों के बीच कहा-सुनी होती रहती थी. शीना उसके पहले पति की संतान थी. इस केस में इंद्राणी मुखर्जी के साथ उसके दूसरे पति पीटर मुखर्जी भी आरोपी हैं. हालांकि, केस की जांच के दौरान ही पीटर मुखर्जी और इंद्राणी मुखर्जी का तलाक हो गया. आपसी सहमति के आधार पर दोनों से तलाक को मंजूरी दे दी थी. पीटर मुंबई के आर्थर रोड जेल में बंद थे.
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