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सोमवार, 21 अप्रैल, 2025
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दूसरा धर्म अपनाने वाले आदिवासियों से आरक्षण की सुविधा वापस ली जाए: चंपई सोरेन

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बोकारो (झारखंड), 18 अप्रैल (भाषा) झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री चंपई सोरेन ने मांग की है कि दूसरा धर्म अपनाने वाले आदिवासियों से आरक्षण की सुविधा वापस ली जाए।

उन्होंने यह भी कहा कि आदिवासी समुदाय से बाहर शादी करने वाली आदिवासी महिलाओं को आरक्षण सुविधा से बाहर किया जाना चाहिए।

बोकारो जिले के बालीडीह जाहेरगढ़ में बृहस्पतिवार को आयोजित ‘सरहुल/बाहा’ मिलन समारोह को संबोधित करते हुए सोरेन ने दूसरा धर्म अपनाने वाले आदिवासियों या आदिवासी समुदाय से बाहर शादी करने वाली आदिवासी महिलाओं को आरक्षण सुविधा दिए जाने का कड़ा विरोध किया।

जाहेरगढ़ (आदिवासियों का पूजा स्थल) में मत्था टेकने वाले सोरेन ने आदिवासी समुदाय से जागने का आह्वान करते हुए दावा किया कि अगर जल्द ही ऐसे आदिवासियों को सूची से बाहर नहीं किया गया तो समुदाय का अस्तित्व मिट जाएगा।

सोरेन ने यहां एक बयान में कहा, “अगर हम अभी नींद से नहीं जागे तो समुदाय का कोई भी व्यक्ति हमारे जाहेरस्थान, सरना स्थल और देशावली (सभी पूजा स्थलों) पर प्रार्थना करने के लिए नहीं बचेगा।”

संथाल परगना के मौजूदा हालात पर चिंता जताते हुए पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि आदिवासी समुदाय दो तरफ से मार झेल रहा है।

उन्होंने दावा किया कि एक तरफ आरक्षित सीटों पर दूसरा धर्म अपनाने वाले आदिवासी कब्जा कर रहे हैं, वहीं बांग्लादेशी घुसपैठिए न सिर्फ हमारी जमीन हड़प रहे हैं, बल्कि आदिवासी महिलाओं से शादी करके हमारे सामाजिक ताने-बाने को भी नुकसान पहुंचा रहे हैं।

सोरेन ने आरोप लगाया कि बाद में ये घुसपैठिये स्थानीय निकाय चुनावों में उन्हीं आदिवासी महिलाओं को मैदान में उतारकर संविधान द्वारा प्रदत्त आरक्षण पर अप्रत्यक्ष रूप से अतिक्रमण कर लेते हैं।

उन्होंने इसे रोकने की अपील की।

भाषा

जोहेब नरेश

नरेश

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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