कोलकाता, 23 अगस्त (भाषा) इस वर्ष के गोडेल पुरस्कार विजेता पश्चिम बंगाल के सैद्धांतिक कंप्यूटर वैज्ञानिक और आईआईटी कानपुर के पूर्व छात्र ईशान चट्टोपाध्याय ने कहा कि यह सम्मान जिज्ञासापूर्वक अनुसंधान के प्रति उनकी प्रतिबद्धता को दर्शाता है और वह अधिक से अधिक जोखिम उठाने तथा विभिन्न विषयों पर अनुसंधान के लिए तैयार हैं।
अमेरिका के न्यूयॉर्क शहर के इथाका से ‘पीटीआई-भाषा’ से फोन पर बात करते हुए कॉर्नेल विश्वविद्यालय में कंप्यूटर विज्ञान के एसोसिएट प्रोफेसर चट्टोपाध्याय ने अनुसंधान का दायरा बढ़ाने में रुचि व्यक्त की और मौलिक अनुसंधान को और अधिक सुलभ बनाने की आशा व्यक्त की।
चट्टोपाध्याय ने कहा, ‘अनुसंधान हमेशा से मेरे लिए जिज्ञासा से प्रेरित गतिविधि रहा है, और यह पुरस्कार प्राप्त करना वास्तव में एक सम्मान की बात है। यह मौलिक कार्य करने के महत्व को दर्शाता है सैद्धांतिक कंप्यूटर विज्ञान कंप्यूटेशन के सार को समझने से जुड़ा है। अब मैं बड़े जोखिम लेने के लिए तैयार हूं।”
चट्टोपाध्याय को सैद्धांतिक कंप्यूटर विज्ञान के क्षेत्र में सर्वोच्च सम्मानों में से एक, गोडेल पुरस्कार 2025 से सम्मानित किया गया है। यह पुरस्कार उन्हें एक ऐसी समस्या को सुलझाने के लिए दिया गया जिसने शोधकर्ताओं को लगभग तीन दशकों तक उलझन में डाल रखा था।
भाषा जोहेब प्रशांत
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