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Sunday, 28 December, 2025
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न्यायालय के आदेश पर गठित जांच समिति की कार्रवाई का ऋषिकेश में विरोध, पुलिस ने किया फ्लैग मार्च

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ऋषिकेश (उत्तराखंड), 28 दिसंबर (भाषा) ऋषिकेश में 2,866 एकड़ आरक्षित वन भूमि की लीज के मामले में उच्चतम न्यायालय के आदेश पर गठित जांच समिति की कार्रवाई के विरोध में रविवार को स्थानीय लोगों ने पुलिस और वन विभाग की टीम पर पथराव किया तथा कई घंटों तक राजमार्ग और रेल की पटरियों को भी अवरूद्ध रखा।

हालांकि, इसकी सूचना मिलने पर देहरादून के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय सिंह मौके पर पहुंचे और लोगों को समझा बुझाकर रेल मार्ग और राजमार्ग पर यातायात बहाल कराया।

आरक्षित वन भूमि की लीज के प्रकरण में उच्चतम न्यायालय द्वारा 22 दिसंबर को पारित आदेश के क्रम में उत्तराखंड सरकार ने एक जांच समिति गठित की है जो वन भूमि की पैमाईश कर रही है। इसी दौरान स्थानीय लोगों ने उसका जमकर विरोध करना शुरू कर दिया।

लोगों ने मनसादेवी क्षेत्र में शाम चार बजे रेल मार्ग पर धरना देकर ऋषिकेश जा रही बाड़मेर एक्सप्रेस को चार घंटे तक रोके रखा। कुछ लोगों ने सड़क भी अवरुद्ध कर दी। इसी बीच कुछ लोगों ने पुलिस और वन विभाग की टीम पर पथराव भी किया।

मौके पर मौजूद अधिकारियों ने लोगों को समझाने का प्रयास किया लेकिन वे नहीं माने। सूचना मिलने पर एसएसपी मौके पर पहुंचे और रेल मार्ग तथा राजमार्ग पर अवरोध हटाकर यातायात बहाल करवाया ।

किसी भी स्थिति से सख्ती से निपटने और क्षेत्र में कानून-व्यवस्था बनाए रखने का संदेश देने के लिए पुलिस ने ऋषिकेश के श्यामपुर क्षेत्र में ‘फ्लैग मार्च’ भी किया।

जांच समिति को अनिवार्य रूप से अगले साल पांच जनवरी से पहले 2,866 एकड़ आरक्षित वन भूमि की लीज प्रकरण में उच्चतम न्यायालय के सामने अपनी स्थिति रिपोर्ट पेश करनी है। इसी कारण, भारी विरोध के बावजूद जांच समिति ने बापू ग्राम, शिवाजी नगर, मीरा नगर, नंदू फार्म, मालवीय नगर, अमित ग्राम, मनसा देवी आदि क्षेत्रों में मौके पर जाकर नापजोख करने की कार्रवाई जारी रखी।

जानकारों के मुताबिक, इन क्षेत्रों की भूमि आरक्षित वन श्रेणी की होने के कारण यहां रजिस्ट्री नहीं हो सकती लेकिन लीज की यह बेशकीमती वन भूमि कथित रूप से मात्र 100 रुपए के स्टांप पर धड़ल्ले से खरीदी और बेची जा रही है। उन्होंने बताया कि जमीन पर स्वामित्व तो सरकार का है लेकिन इस जमीन की खरीद-बिक्री स्थानीय लोग कर रहे हैं।

उनका कहना है कि अनिता कंडवाल द्वारा इस संबंध में दायर याचिका के जरिए यह प्रकरण जब उच्चतम न्यायालय में पहुंचा तो वन विभाग की लीज की ज़मीन की कथित खरीद-फरोख्त में लगे लोगों को इससे परेशानी हो रही है और वे जांच समिति का विरोध कर रहे हैं ।

पिछले दो दिनों से जांच समिति की कार्रवाई जारी है जिसका लगातार विरोध किया जा रहा है।

इस संबंध में एसएसपी ने कहा कि अपने हितों के लिए जनता को जांच समिति की कार्रवाई के विरूद्ध भड़का रहे लोगों को चिन्हित किया गया है और उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जा रहा है ।

भाषा सं दीप्ति गोला

गोला

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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