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शनिवार, 7 जून, 2025
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पवार परिवार राकांपा के स्थापना दिवस कार्यक्रमों की तैयारी में जुटा

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मुंबई, सात जून (भाषा) राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) गुट के एक होने की अटकलों की पृष्ठभूमि में दोनों गुट पुणे में 10 जून को पार्टी का स्थापना दिवस समारोह अलग अलग आयोजित करेंगे।

हालांकि, दोनों पक्षों के शीर्ष नेताओं के बीच लगातार बैठकों के बावजूद दोनों पार्टियों ने इस बात पर जोर दिया है कि उनके हाथ मिलाने का ऐसा कोई प्रस्ताव नहीं है।

महाराष्ट्र राकांपा (एसपी) के अध्यक्ष जयंत पाटिल ने स्पष्ट किया कि दोनों गुटों के एक साथ आने की चर्चा ‘‘केवल अटकल’’ है और एक होने की संभावना पर कोई चर्चा नहीं हुई है।

पाटिल ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘10 जून को हम अपनी पार्टी की स्थापना की 26वीं वर्षगांठ मनाएंगे। यह हमारा स्थापना दिवस है और दोनों गुटों के हाथ मिलाने पर कोई औपचारिक बात नहीं हुई है। चर्चा केवल अटकल है। लेकिन मुझे लगता है कि स्थापना दिवस कार्यक्रम के बाद इस मुद्दे पर स्पष्टता की संभावना है।’’

पूर्व मंत्री ने बताया, ‘‘पवार साहब (राकांपा-एसपी अध्यक्ष शरद पवार) के अलावा, चार से पांच प्रमुख पदाधिकारी सभा को संबोधित करेंगे।’’

शरद पवार सुबह के कार्यक्रम में विपक्षी पार्टी के कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों को संबोधित करेंगे और सत्तारूढ़ राकांपा के प्रमुख उपमुख्यमंत्री अजित पवार उसी शाम पुणे में अपने गुट के स्थापना दिवस कार्यक्रम में भाग लेंगे।

राकांपा की महाराष्ट्र इकाई के अध्यक्ष सुनील तटकरे ने भी स्पष्ट किया कि दोनों समूहों के एक होने या गठबंधन पर कोई प्रस्ताव या चर्चा नहीं हुई है।

सार्वजनिक और निजी कार्यक्रमों में शरद पवार और उनके भतीजे अजित पवार के बीच लगातार मुलाकातों ने जुलाई 2023 में पार्टी में विभाजन के बाद इन गुटों के फिर से एकजुट होने की अटकलों को हवा दी है।

राकांपा और राकांपा (एसपी) दोनों ने अपने स्थापना दिवस समारोह के लिए पवार परिवार के गृह क्षेत्र पुणे को चुना है। शरद पवार शिवाजीनगर के बाल गंधर्व रंग मंदिर में अपने समर्थकों को संबोधित करेंगे, जबकि अजित पवार बालेवाड़ी के श्री छत्रपति शिवाजी स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स में अपनी पार्टी के कार्यक्रम को संबोधित करेंगे।

राकांपा की स्थापना 10 जून 1999 को हुई थी, जब तत्कालीन कांग्रेस नेताओं शरद पवार, पी. ए. संगमा और तारिक अनवर ने पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी के विदेशी मूल का मुद्दा उठाया था, जिसके कारण उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया गया था।

संगमा अब इस दुनिया में नहीं हैं और अनवर कांग्रेस में वापस आ चुके हैं। बाद में राकांपा ने कांग्रेस से हाथ मिला लिया और महाराष्ट्र में गठबंधन सरकार बनाई, जहां वे लगातार तीन कार्यकाल (1999-2014) तक सत्ता में रहे।

वर्ष 2019 में राकांपा और कांग्रेस ने शिवसेना के साथ हाथ मिलाया और महा विकास आघाडी (एमवीए) सरकार बनाई, जो जून 2022 में गिर गई।

वर्ष 2023 में उस समय विपक्ष में रहे अजित पवार अधिकतर राकांपा विधायकों के साथ सत्तारूढ़ भाजपा-शिवसेना गठबंधन में शामिल हो गए और उपमुख्यमंत्री बन गए।

वर्ष 2024 के विधानसभा चुनाव के बाद भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाली महायुति ने भारी बहुमत के साथ सत्ता बरकरार रखी और शिवसेना के एकनाथ शिंदे के साथ अजित पवार उपमुख्यमंत्री बने तथा मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के मंत्रिमंडल में शामिल हुए।

भाषा सुरभि मनीषा

मनीषा

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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