अहमदाबाद, सात अक्टूबर (भाषा) विश्व हिंदू परिषद (विहिप) ने शनिवार को कहा कि गुजरात सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि आगामी नवरात्रि त्योहार के दौरान ‘लव जिहादी’ गरबा पंडालों में प्रवेश नहीं करें तथा इन कार्यक्रमों में सेवा प्रदाता भी मुस्लिम समुदाय से नहीं होने चाहिए।
विहिप के संयुक्त महासचिव सुरेंद्र जैन ने यहां संवाददाताओं से बातचीत में दावा किया कि हिंदू धार्मिक जुलूसों को निशाना बनाया जा रहा है।
जैन ने कहा, ‘‘ गरबा देवी की पूजा-अर्चना करने का अवसर है। कुछ ‘जिहादी’ ऐसे अवसरों का दुरूपयोग करते है। मैं गरबा के सभी आयोजकों से अपील करना चाहूंगा कि पंडाल वाले (जो पंडाल बनाते हैं), खानपान की सेवा देने वाले, सुरक्षा सेवाओं के सदस्य मुसलमान नहीं होने चाहिए तथा उन्हें पहचान पत्र एवं आधार कार्ड की जांच करने के बाद ही किसी भी व्यक्ति को अंदर आने देना चाहिए।’’
उन्होंने कहा कि यह सुनिश्चित करना गुजरात सरकार की जिम्मेदारी है कि ‘‘कोई गरबा के इस पावन आयोजन को लव जिहाद स्थल के रूप में तब्दील करने की कोशिश नहीं करे।’’
जैन ने कहा, ‘‘ हम उन्हें रोकेंगे लेकिन उससे अशांति फैलने की आशंका है। सरकार को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि कानून व्यवस्था बनी रहे तथा लव जिहादी आयोजन स्थलों के आसपास नहीं पहुंच पायें।’’
गरबा नौ दिवसीय नवरात्रि त्योहार के दौरान आयोजित होने वाला एक गुजराती लोकनृत्य है । इस साल 15 अक्टूबर से 23 अक्टूबर तक नवरात्रि मनायी जाएगी।
जैन ने यह भी कहा कि विहिप के प्रयासों के कारण ही गुजरात सरकार ने ‘लव जिहाद विरोधी कानून’ पारित किया लेकिन उसे उपयुक्त ढंग से लागू नहीं किया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने विहिप को उसके अनुरोध पर, लव जिहाद के खिलाफ केंद्रीय कानून बनाने का आश्वासन दिया है।
गुजरात उच्च न्यायालय ने गुजरात धार्मिक स्वतंत्रता (संशोधन) अधिनियम, 2021 के कुछ प्रावधानों पर स्थगन लगा रखा है। उसमें शादी के माध्यम से जबरन/ धोखाधड़ी से धर्मांतरण के लिए दंड का प्रावधान है।
जैन ने आरोप लगाया कि यहां तक कि गुजरात में भी हिंदू धार्मिक जुलूस पर हमले किये जा रहे हैं तथा बजरंग दल की कई ‘शौर्य जागरण यात्राओं’ पर पथराव किया गया।
भाषा राजकुमार अविनाश
अविनाश
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