नई दिल्ली: लोकपाल को इस साल अप्रैल से जुलाई के बीच केंद्र सरकार के वरिष्ठ अधिकारियों के खिलाफ 30 शिकायतें मिली हैं. ताजा आधिकारिक आंकड़ों में यह जानकारी सामने आई है.
लोकपाल के आंकड़ों के अनुसार इस वित्त वर्ष में की गयीं कुल शिकायतों में 18 जुलाई में और 12 अप्रैल तथा जून में प्राप्त हुईं. इन 30 शिकायतों में 18 समूह ‘ए’ या ‘बी’ के अधिकारियों के खिलाफ और 12 शिकायतें आंशिक या पूर्ण रूप से केंद्र सरकार द्वारा वित्तपोषित या उसके द्वारा नियंत्रित ‘किसी संस्था/बोर्ड/ निगम/ प्राधिकरण/ कंपनी/ समिति/ न्यास/स्वायत्त संस्था में अध्यक्ष/सदस्य/ अधिकारी/ कर्मचारी के खिलाफ थीं.
आंकड़े बताते हैं कि 11 शिकायतें प्रारंभिक जांच पड़ताल के बाद निस्तारित कर दी गयीं, सात शिकायतों में प्रारंभिक जांच के आदेश दिये गये, एक शिकायत में स्थिति रिपोर्ट मांगी गयी और एक अन्य में टिप्पणियां आमंत्रित की गयीं.
लोकपाल ने तीन शिकायतों में फरियादियों से अतिरिक्त सूचना मांगी है. 2021-22 के आंकड़ों के अनुसार तीन शिकायतों में केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) से प्रारंभिक जांच रिपोर्ट नहीं मिली है.
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने 23 मार्च, 2019 को न्यायमूर्ति पिनाकी चंद्र घोष को लोकपाल के अध्यक्ष के रूप में शपथ दिलाई थी. इस समय लोकपाल में न्यायिक सदस्यों के दो पद खाली हैं.
2020-21 में लोकपाल को ऐसी 110 शिकायतें मिली थीं. जबकि 2019-20 में प्राप्त शिकायतों की संख्या 1,427 थी.
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