रांची, चार जून (भाषा) झारखंड सरकार ने बुधवार को प्रशासनिक फेरबदल करते हुए सूचना एवं जनसंपर्क विभाग के पुनर्गठन को मंजूरी दे दी। इसके तहत 504 पद समाप्त किए गए हैं, जबकि 36 नए पद सृजित किए गए हैं। एक अधिकारी ने यह जानकारी दी।
मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक में यह निर्णय लिया गया। इससे सालाना 24 करोड़ रुपये की बचत होगी। अधिकारी ने कहा, ‘‘आज कैबिनेट की बैठक में कुल 12 निर्णय लिए गए। इनमें से एक निर्णय सूचना एवं जनसंपर्क विभाग के पुनर्गठन को मंजूरी देने से संबंधित था। पुनर्गठन के तहत 36 नए पद सृजित किए जाएंगे, जबकि 504 पद जो अनावश्यक हो गए हैं, उन्हें समाप्त किया जाएगा। इससे कामकाज सुव्यवस्थित होगा और विभाग की कार्यकुशलता बढ़ेगी।’’
एक अन्य महत्वपूर्ण निर्णय में राज्यभर में अवैध खनन गतिविधियों पर अंकुश लगाने के लिए खान निदेशक और अन्य अधिकारियों को विभिन्न धाराओं के तहत जुर्माना लगाने की शक्ति सौंपने को मंजूरी दी गई।
अधिकारी ने कहा कि कैबिनेट ने एक प्रस्ताव को भी मंजूरी दी है कि नगर निगम के ठेकेदारों के पास झारखंड राज्य का वैध जीएसटी प्रमाण पत्र होना चाहिए, जिससे अनुबंधों में पारदर्शिता और अनुपालन बढ़ेगा।
इसके अलावा बुनियादी ढांचे के विकास को बढ़ावा देते हुए कैबिनेट ने पाकुड़-बरहरवा मुख्य सड़क के चौड़ीकरण, सुदृढ़ीकरण और पुनर्निर्माण के लिए 40.39 करोड़ रुपये मंजूर किये।
इस परियोजना जिसमें भूमि अधिग्रहण, उपयोगिता स्थानांतरण, पुनर्वास और पुनर्स्थापन तथा वृक्षारोपण शामिल है, उसे अब ग्रामीण निर्माण विभाग के बजाय सड़क निर्माण विभाग को सौंपा जाएगा।
राज्य सरकार के एक बयान के अनुसार, मंत्रिमंडल ने झारखंड राज्य खनिज विकास निगम लिमिटेड के पदेन अध्यक्ष के रूप में खान एवं भूविज्ञान विभाग के सचिव के मनोनयन को भी मंजूरी दे दी है। इसके अलावा खान निदेशक राज्य के स्वामित्व वाली इकाई जेएसएमडीसी के पदेन प्रबंध निदेशक बन जाएंगे।
गढ़वा नगर परिषद के अंतर्गत गढ़वा शहरी जलापूर्ति योजना के संवर्द्धन एवं पुनर्गठन के लिए 59.71 करोड़ रुपये की संशोधित प्रशासनिक मंजूरी दी गई।
बयान में कहा गया कि स्वास्थ्य संबंधी कदम उठाते हुए कैबिनेट ने राज्य की जेलों के लिए पूर्व में सृजित चिकित्सकों के पदों को स्वास्थ्य विभाग को हस्तांतरित करने को मंजूरी दे दी, जिससे राज्य भर में स्वास्थ्य सेवाओं का बेहतर एकीकरण सुनिश्चित होगा।
मंत्रिमंडल ने विभिन्न सरकारी परिसर में आधार स्थायी नामांकन केंद्रों की स्थापना के लिए सीएससी (सामान्य सेवा केंद्र) एसपीवी के साथ एक नए समझौते को औपचारिक रूप देने के लिए झारखंड वित्त नियमों के एक प्रावधान में भी ढील दी।
बयान में कहा गया है कि ‘गिग वर्कर्स’ के लिए सामाजिक सुरक्षा की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए कैबिनेट ने झारखंड मंच-आधारित ‘गिग वर्कर्स’ (पंजीकरण और कल्याण) विधेयक, 2025 के मसौदे को मंजूरी दी। इस विधेयक का उद्देश्य ओला, उबर और जोमैटो जैसे मंच के माध्यम से नियोजित गिग वर्कर्स का कल्याण सुनिश्चित करना है।
गुणवत्तापूर्ण तकनीकी शिक्षा की आवश्यकता पर ध्यान देते हुए मंत्रिमंडल ने बोकारो और गोड्डा में नवनिर्मित सरकारी इंजीनियरिंग कॉलेजों में शिक्षण और गैर-शिक्षण पदों के सृजन को मंजूरी दी।
दोनों महाविद्यालयों के लिए 85-85 शिक्षण पदों के अलावा 125-125 गैर-शिक्षण पदों को मंजूरी दी गई।
बयान में कहा गया है कि इसके अलावा, सरकारी बालिका माध्यमिक विद्यालयों में 35 सहायक अध्यापकों के लिए लाभ बहाल किए जाएंगे, जिनकी नियुक्तियां पहले सीबीआई जांच के आधार पर अवैध या अनियमित घोषित की गई थीं और जिन नियुक्तियों को बाद में अदालत के आदेश पर बहाल कर दिया गया था।
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भाषा संतोष पवनेश
पवनेश
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