मेरठ (उत्तर प्रदेश), दो जून (भाषा) मेरठ जनपद के दौराला क्षेत्र स्थित समौली गांव में एक किसान के घर के आंगन से अचानक सैंकड़ों सांप निकलने लगे।
घटना से ग्रामीणों में हड़कंप मच गया और डर के मारे किसान ने परिजनों और गांव वालों के साथ मिलकर 50 से अधिक सांपों को मारकर गड्ढे में दबा दिया।
वन विभाग के प्रभागीय वन अधिकारी (डीएफओ) राजेश कुमार ने सोमवार को ‘पीटीआई-भाषा’ से बातचीत में घटना की पुष्टि करते हुए बताया कि एक वीडियो वायरल होने के बाद विभागीय टीम को मौके पर जांच के लिए भेजा गया है। उन्होंने कहा कि सांपों को मारने और बिना सूचना दिए जमीन में दबा देने की बात सामने आई है।
उन्होंने कहा कि सांप वन्यजीव संरक्षण अधिनियम, 1972 के अंतर्गत संरक्षित जीव हैं और किसी भी प्रकार की कार्रवाई से पूर्व वन विभाग को सूचित किया जाना आवश्यक है।
डीएफओ ने बताया, ‘वीडियो देखने पर प्रतीत होता है कि सांपों को मारा गया और उन्हें गड्ढे में दबाया गया। प्रारंभिक जांच के अनुसार ये पानी में पाए जाने वाले गैर-विषैले सांप हैं, जो सामान्यतः नालियों आदि में रहते हैं। विभागीय टीम मौके पर है और ग्रामीणों से पूछताछ कर रही है।’
गांव निवासी किसान महफूज सैफी ने बताया कि रविवार रात वह सोने की तैयारी कर रहे थे, तभी उन्हें अपने आंगन में एक सांप दिखाई दिया जिसे उन्होंने मार दिया। इसके कुछ ही देर में वहां एक के बाद एक कर सांप निकलने लगे। उन्होंने बताया कि परिजनों और गांव वालों की मदद से उन्होंने लगभग 50 सांपों को मारकर एक गड्ढे में दबा दिया।
घटना की जानकारी जंगल में आग की तरह गांव में फैल गई और बड़ी संख्या में ग्रामीण मौके पर एकत्र हो गए। सांप किसान के दरवाजे के पास बने रैंप के नीचे से निकल रहे थे।
वन विभाग ने इस संबंध में आवश्यक विधिक कार्रवाई प्रारंभ कर दी है और यह जांच की जा रही है कि कुल कितने सांप मारे गए तथा उन्हें कहां दबाया गया।
विभाग ने आम जन से अपील की है कि इस प्रकार की किसी भी घटना की तत्काल सूचना वन विभाग को दें और किसी भी संरक्षित जीव को नुकसान न पहुंचाएं।
भाषा सं जफर नरेश
नरेश
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