नयी दिल्ली, 19 मार्च (भाषा) दिल्ली उच्च न्यायालय ने बुधवार को नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (डीजीसीए) और अन्य से इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे के 10 किलोमीटर के दायरे में बूचड़खानों को बंद करने के अनुरोध वाली याचिका पर जवाब मांगा।
याचिका में कहा गया है कि इससे पक्षियों और यात्रियों के जीवन एवं सुरक्षा को खतरा हो सकता है।
मुख्य न्यायाधीश डी के उपाध्याय और न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला की पीठ ने याचिका पर कई विभागों को नोटिस जारी किए और उनसे जनहित याचिका की चिंताओं को कम करने वाले उपायों पर उनका रुख जानना चाहा।
जवाबों में न केवल ‘‘पीआईएल में किए गए कथनों के पैरा-वार उत्तर’’ शामिल करने का निर्देश दिया गया, बल्कि याचिका में जाहिर चिंताओं पर ‘‘उठाए गए कदमों का विवरण’’ भी शामिल करने का निर्देश दिया गया।
अदालत ने हलफनामे दाखिल करने के लिए छह सप्ताह का समय दिया और सुनवाई 14 मई के लिए तय की।
पशु अधिकार कार्यकर्ता एवं याचिकाकर्ता गौरी मौलेखी ने कहा कि विमान नियम और भारतीय वायुयान विधायक, 2024 ‘एयरोड्रोम रेफरेंस प्वाइंट’ (एआरपी) से 10 किलोमीटर के दायरे में पशुओं के वध या इससे संबंधित ऐसे किसी भी कचरे के निपटान पर प्रतिबंध लगाते हैं, जिससे पक्षियों या जानवरों के आकर्षित होने की संभावना हो।
याचिकाकर्ता ने इन नियमों के अनुपालन नहीं होने का दावा किया है।
भाषा शफीक रंजन
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