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Friday, 20 December, 2024
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हाथरस घटना : ‘फर्जी’ बाबाओं के प्रभाव को रोकने के लिए कांग्रेस ने की कानून बनाने की मांग

उत्तर प्रदेश के हाथरस के फुलरई गांव में स्वयंभू बाबा नारायण साकर हरि द्वारा आयोजित ‘सत्संग’ के दौरान भगदड़ में 121 लोगों की मौत हो गई.

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दिल्ली: कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने धार्मिक सभाओं को विनियमित करने और ‘फर्जी’ बाबाओं के प्रभाव को रोकने के लिए एक कानून की मांग की है. यह बात उत्तर प्रदेश में मंगलवार को एक सभा के दौरान भगदड़ में 121 लोगों की मौत के एक दिन बाद कही गई है.

खरगे ने बुधवार को राज्यसभा को बताया कि हाथरस की घटना को रोका जा सकता था. खरगे ने कहा था, ‘‘कर्नाटक और महाराष्ट्र में कानून बनाए गए थे जो फर्जी बाबाओं की संदिग्ध गतिविधियों से सख्ती से निपटते थे. हम उत्तर प्रदेश में भी इसी तरह के कानून की मांग करते हैं, जहां मंगलवार को एक दुखद घटना हुई. गृह मंत्री की ओर से भी बयान आना चाहिए.’’

हाथरस में भगदड़ स्वयंभू बाबा नारायण साकर हरि, जिन्हें भोले बाबा के नाम से भी जाना जाता है, द्वारा आयोजित एक ‘सत्संग’ के दौरान हुई. फुलरई गांव से करीब 100 किलोमीटर दूर मैनपुरी में उनका आश्रम है, जहां उन्होंने कार्यक्रम आयोजित किया था, जिसमें कम से कम 15,000 श्रद्धालु शामिल हुए थे.

उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भगदड़ में घायल हुए लोगों से मिलने बुधवार को हाथरस पहुंचे. आयोजकों, जिनमें मुख्य स्वयंसेवक देवप्रकाश मधुकर और अन्य अज्ञात व्यक्ति शामिल हैं, के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता की धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की गई है.

संसद के संयुक्त सत्र में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव के जवाब में प्रधानमंत्री नरेंद्र ने मंगलवार को हाथरस में हुई दुखद भगदड़ के पीड़ितों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त की. दुर्भाग्यपूर्ण घटना की जानकारी मिलते ही उन्होंने जानमाल के नुकसान को स्वीकार करने और शोक व्यक्त करने के लिए अपना भाषण रोक दिया.

उन्होंने कहा, “उत्तर प्रदेश के हाथरस में भगदड़ में कई लोगों के मरने की खबर है. मैं इस दुर्घटना में जान गंवाने वालों के प्रति अपनी संवेदना व्यक्त करता हूं. मैं सभी घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना करता हूं. राज्य सरकार की देखरेख में प्रशासन राहत और बचाव कार्य में लगा हुआ है. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के वरिष्ठ अधिकारी लगातार उत्तर प्रदेश सरकार के संपर्क में हैं. मैं इस सदन के माध्यम से सभी को आश्वस्त करता हूं कि पीड़ितों की हरसंभव मदद की जाएगी.”

प्रधानमंत्री ने मृतकों के परिजनों को दो-दो लाख रुपये और घायलों को 50-50 हज़ार रुपये की अनुग्रह राशि देने की भी घोषणा की.

उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक प्रशांत कुमार ने मंगलवार को संवाददाताओं से कहा, “सभी चीज़ों की जांच की जा रही है और हम जल्दबाजी में निष्कर्ष निकालकर जांच को प्रभावित नहीं करना चाहते. जांच के निष्कर्षों के आधार पर मामला आगे बढ़ेगा.”

(इस खबर को अंग्रेज़ी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)


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