पणजी (गोवा): गोवा के पर्यटन मंत्री रोहन खाउंटे ने राज्य में बीफ पर किसी भी प्रकार के प्रतिबंध को पूरी तरह से खारिज किया है.
उन्होंने कहा कि गोवा में पाक संस्कृति की स्वतंत्रता और सामूहिक सौहार्द पर्यटन की आत्मा का हिस्सा हैं, और सरकार राज्य को “दक्षिण का काशी” बनाने के अपने आध्यात्मिक पर्यटन लक्ष्य के बावजूद इस पहलू को बनाए रखेगी.
मंत्री रोहन खाउंटे ने मीडिया से कहा कि गोवा का अनूठा सामाजिक ताना-बाना समुदायों के आपसी सम्मान और मेल-जोल पर आधारित है.
उन्होंने कहा, “गोवा आने पर, चाहे दिवाली हो, चतुर्थी हो या क्रिसमस, हम एक-दूसरे के घर जाते हैं और एक-दूसरे के भोजन का आनंद उसी तरह लेते हैं, जैसे हम चाहते हैं.”
बीफ या अन्य खाद्य पदार्थों पर किसी भी तरह के प्रतिबंध की चिंता पर उन्होंने स्पष्ट किया कि राज्य सरकार पर्यटकों पर कोई खाद्य सीमाएं नहीं लगाएगी और सभी विकल्प उपलब्ध रहेंगे.
उन्होंने कहा, “गोवा सरकार की ओर से, पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए, जो भी पर्यटक गोवा आएगा, उसके पास खाने-पीने के विभिन्न विकल्प होंगे और किसी चीज़ पर प्रतिबंध नहीं है. हम उनके विकल्पों का सम्मान करते हैं.”
रोहन खाउंटे ने इस बात पर भी जोर दिया कि पर्यटक को कोई चीज़ जबरन नहीं खिलाई जाएगी.
उन्होंने कहा, “मैं नहीं चाहता कि आप आएं और आपको जबरन खाना खिलाया जाए, हम ऐसा नहीं कहेंगे, इसलिए कह रहे हैं ‘आपको जो खाना है खाओ, मज़ा करो.’”
उन्होंने अपने बयान का समापन भारतीय आतिथ्य के मूल सिद्धांतों से करते हुए कहा, “और अच्छे अनुभव लेकर जाएं. इसलिए हम कहते हैं ‘अतिथि देवो भव’ और ‘सेवा देवो भव’.’’
इस बयान से राज्य के पर्यटन क्षेत्र में पर्यटकों और संबंधित हितधारकों का विश्वास बनाए रखने का प्रयास किया गया है, ताकि गोवा की समावेशी और स्वागतपूर्ण संस्कृति अपने विविध पाक अनुभवों के साथ बनी रहे.