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Thursday, 10 October, 2024
होमदेश'पंचायत चुनाव में जीत के लिए जहरीली शराब पिलाई'- 10 लोगों की मौत, हरिद्वार पुलिस ने 'क्वैक' को पकड़ा

‘पंचायत चुनाव में जीत के लिए जहरीली शराब पिलाई’- 10 लोगों की मौत, हरिद्वार पुलिस ने ‘क्वैक’ को पकड़ा

पुलिस ने बताया कि आरोपी ने बड़ी मात्रा में अवैध शराब बना ली और उसे दो बड़ी कैन में जमा कर अपने खेत में दबा दिया. उनकी पत्नी आगामी पाथरी पंचायत चुनाव में उम्मीदवार हैं.

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देहरादून: उत्तराखंड पुलिस ने आगामी ग्राम पंचायत चुनाव लड़ने वाली एक उम्मीदवार के पति- ‘झोलाझाप’ को कथित तौर पर घर में बनी शराब बनाने और बांटने के आरोप में गिरफ्तार किया है, जिसमें अब तक हरिद्वार जिले में 10 लोगों की जान जा चुकी है.

मामला शनिवार को तब सामने आया जब कई ग्रामीण स्थानीय अस्पताल में उल्टी और पेट खराब होने की शिकायत लेकर पहुंचे. बाद में पता चला कि अस्पताल में भर्ती लोगों ने एक रात पहले जहरीली शराब पी थी.

पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) अशोक कुमार ने दिप्रिंट को बताया कि शिवगढ़ और फूलगढ़ के गांवों में मारे गए 10 लोगों के आरोपी बिजेंद्र भान ने उन्हें शराब पिलाई थी. वह कथित तौर पर अपनी पत्नी बबीता को वोट देने के लिए उन्हें लुभाने की कोशिश कर रहा था. पाथरी पंचायत चुनाव में 26 सितंबर को मतदान होना है.

उन्होंने कहा, ‘पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में पुष्टि हो गई है कि मारे गए सभी ग्रामीणों ने उसके द्वारा बांटी गई शराब पी थी.’

पुलिस ने दावा किया कि आरोपी को केमिकल्स के बारे में थोड़ी-बहुत जानकारी थी. इसी जानकारी का इस्तेमाल करते हुए वह पिछले चार-पांच महीनों से फूलगढ़ गांव में अपने खेत में अवैध शराब बना रहा था और अपनी पत्नी को वोट देने के लिए लोगों को लुभाने के लिए इसका इस्तेमाल करने की योजना बना रहा था.


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उन्होंने बताया कि प्रारंभिक जांच में यह भी पता चला है कि उसने अपने खेत में घर की बनी शराब की दो कैन दबा रखी थी.

पुलिस ने बताया कि दो सितंबर को पंचायत चुनाव की तारीखों की घोषणा के बाद उसने 20 लीटर वजन की एक कैन बरामद की थी. पुलिस ने शनिवार को 35 लीटर वजनी दूसरा कैन को बरामद किया.

डीजीपी कुमार ने कहा कि बिजेंद्र को शनिवार रात गिरफ्तार किया गया था और उस पर भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 302 (हत्या) के साथ-साथ राज्य आबकारी अधिनियम की धारा 62 का मामला दर्ज किया गया है. उन्होंने आगे कहा, इस मामले में उसकी पत्नी और उसका भाई भी शामिल थे और उन पर ‘जल्द ही कार्रवाई की जाएगी’.

हरिद्वार (ग्रामीण) के पुलिस अधीक्षक (एसपी) परमेंद्र सिंह डोभाल ने दिप्रिंट को बताया कि बिजेंद्र ने अपना अपराध स्वीकार कर लिया है.

डोभाल ने कहा, ‘दो सितंबर को हरिद्वार ग्रामीण निकाय चुनाव की घोषणा के तुरंत बाद आरोपी ‘क्वैक’ ने ग्रामीणों को शराब बांटना शुरू कर दिया. नामांकन की तारीख 6 सितंबर नजदीक आते ही शराब की मांग बढ़ गई. वैसे गांव के काफी सारे लोगों ने शराब पी थी, लेकिन मरने वालों ने इसे अधिक मात्रा में लिया था.’

गढ़वाल के पुलिस उप महानिरीक्षक (डीआईजी) के.एस. नागन्याल ने कहा कि हालांकि यह पुष्टि हो गई है कि पीड़ितों ने नकली शराब का सेवन किया था, विसरा रिपोर्ट मिलने के बाद मौत का कारण निर्धारित हो जाएगा.

उन्होंने कहा कि पाथरी थाने के एसएचओ और तीन कांस्टेबल समेत चार कर्मियों को निलंबित कर दिया गया है.

हरिद्वार के जिलाधिकारी ने चार पुलिसकर्मियों के अलावा नौ जिला आबकारी कर्मचारियों को भी इस मामले में निलंबित कर दिया है.

(इस ख़बर को अंग्रेजी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)


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