(तस्वीर के साथ)
शिमला, 26 मार्च (भाषा) हिमाचल प्रदेश के पूर्व मंत्री तथा लाहौल एवं स्पीति विधानसभा क्षेत्र से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा)के नेता राम लाल मरकंडा ने मंगलवार को कांग्रेस के बागी रवि ठाकुर को मैदान में उतारे जाने के विरोध में पार्टी की प्राथमिक सदस्यता ने त्यागपत्र दे दिया।
पिछले विधानसभा चुनाव में ठाकुर ने मरकंडा को इस सीट पर हराया था।
भाजपा द्वारा सदन से अयोग्य ठहराए गए सभी छह पूर्व कांग्रेस विधायकों को विधानसभा टिकट देने की घोषणा के कुछ ही समय बाद, मरकंडा ने पार्टी छोड़ दी और घोषणा की कि वह संभवतः कांग्रेस उम्मीदवार के रूप में लाहौल एवं स्पीति से उपचुनाव लड़ेंगे।
मरकंडा,जय राम ठाकुर के नेतृत्व वाली पिछली भाजपा सरकार के दौरान कृषि और जनजातीय विकास मंत्री थे। वह 2022 के विधानसभा चुनाव में रवि ठाकुर से 1542 वोटों के अंतर से हार गए थे, जो उस समय कांग्रेस में थे।
पूर्व मंत्री लाहौल एवं स्पीति से भाजपा के टिकट के प्रबल दावेदार थे। उन्होंने भाजपा से इस्तीफा दे दिया क्योंकि भाजपा ने कांग्रेस के बागी रवि ठाकुर को विधानसभा क्षेत्र से उपचुनाव के लिए उम्मीदवार घोषित किया गया है।
हिमाचल प्रदेश विधानसभा उपचुनाव एक जून को राज्य की चार लोकसभा सीटों – हमीरपुर, शिमला, मंडी और कांगड़ा – के चुनाव के साथ कराया जायेगा।
उन्होंने फोन पर ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, ‘‘मैंने आज अपने समर्थकों के साथ भाजपा छोड़ दी है और निश्चित रूप से विधानसभा चुनाव लड़ूंगा।’’
मरकंडा ने कहा, ‘‘भविष्य की रणनीति तैयार करने के लिए आज रात लाहौल एवं स्पीति कोर कमेटी की बैठक बुलाई गई है।’’
उन्होंने कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि भाजपा ऐसे लोगों को अपने साथ ले रही है जो आरक्षण के खिलाफ हैं और जिन्होंने अतीत में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के खिलाफ अपशब्द कहे थे।
उन्होंने कहा, ‘‘मैं निश्चित रूप से विधानसभा उपचुनाव लड़ूंगा। मेरे कांग्रेस पार्टी से चुनाव लड़ने की संभावना है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मेरे लोग चाहते हैं कि मैं लाहौल एवं स्पीति के विकास के लिए चुनाव लड़ूं।’’
यहां पत्रकारों से बातचीत में मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने भी कहा कि भाजपा के कुछ नेता कांग्रेस के संपर्क में हैं।
भाजपा ने मंगलवार को कई राज्यों में विधानसभा उपचुनावों के लिए अपने उम्मीदवारों की घोषणा की और उन छह विधायकों को भी उन सीटों से मैदान में उतारा, जो अयोग्य ठहराए जाने से पहले कांग्रेस के सदस्य थे।
ठाकुर दो बार के विधायक हैं और राज्य कांग्रेस सेवा दल के अध्यक्ष और राष्ट्रीय अनुसूचित जनजाति आयोग के उपाध्यक्ष थे।
भाषा रंजन रंजन धीरज
धीरज
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