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Sunday, 5 May, 2024
होमदेशबिकरू कांड के आरोपी विकास दुबे की पत्नी, पिता और भाई समेत 18 लोगों पर FIR, फर्जी शस्त्र और सिम रखने का आरोप

बिकरू कांड के आरोपी विकास दुबे की पत्नी, पिता और भाई समेत 18 लोगों पर FIR, फर्जी शस्त्र और सिम रखने का आरोप

कानपुर के चौबेपुर थाने में गुरुवार रात पुलिस ने एसआईटी की रिपोर्ट के आधार पर इन लोगों पर अलग-अलग धाराओं में मुकदमे दर्ज किए हैं.

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लखनऊ: कानपुर के सनसनीखेज बिकरू कांड के आरोपी गैंगस्टर विकास दुबे की पत्नी, भाई व पिता समेत 18 लोगों पर फर्जी दस्तावेजों का इस्तेमाल कर मोबाइल सिम कार्ड और शस्त्र लाइसेंस रखने के आरोप में एफआईआर दर्ज की गई है.

कानपुर के चौबेपुर थाने में गुरुवार रात पुलिस ने एसआईटी की रिपोर्ट के आधार पर इन लोगों पर अलग-अलग धाराओं में मुकदमे दर्ज किए हैं.

कानपुर पुलिस की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक, बिकरू कांड की जांच कर रही तीन सदस्यीय एसआईटी ने पाया है कि फर्जी दस्तावेजों पर लिए गए सिम और शस्त्र लाइसेंस मामले में विकास के पिता रामकुमार दुबे, भाई दीपक उर्फ दीप प्रकाश उर्फ दीपू दुबे, बहू अंजली दुबे, विष्णुपाल उर्फ जिलेदार, अमित उर्फ छोटे बउवा, दिनेश कुमार, रवीन्द्र कुमार, अखिलेश कुमार, आशुतोष त्रिपाठी शामिल हैं.

वहीं फर्जी दस्तावेज पर लिए गए सिम कार्ड के मामले में विकास दुबे की पत्नी ऋचा दुबे, विकास दुबे के साथी राम सिंह, मोनू, शिव तिवारी उर्फ आशुतोष त्रिपाठी, शांति देवी, अपराधी अमर दुबे की पत्नी खुशी दुबे, रेखा अग्निहोत्री, विष्णुपाल उर्फ जिलेदार और दीपक उर्फ दीप प्रकाश शामिल हैं. इन सब के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत किया गया है.


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40 पुलिसकर्मियों पर भी कार्रवाई की सिफारिश

यूपी पुलिस से जुड़े सूत्रों के मुताबिक बिकरू कांड की जांच कर रही एसआईटी की टीम ने प्रदेश सरकार को भेजी अपनी रिपोर्ट में 40 पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की सिफारिश की है जिनपर विभागीय जांच के बाद कार्रवाई होगी.

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सूत्रों के मुताबिक, इन 40 पुलिसकर्मियों में तत्कालीन एसपी (ग्रामीण) प्रद्युम्न सिंह, तत्कालीन सीओ (कैंट) राम कृष्ण चतुर्वेदी और वर्तमान सीओ (एलआईयू) सूक्ष्म प्रकाश के खिलाफ कार्रवाई की सिफारिश की गई है.

कानपुर के बिकरू गांव में बीते 2 जुलाई को गैंगस्टर विकास दुबे व उसके साथियों ने 8 पुलिसवालों की हत्या कर दी थी. पुलिस विकास की दबिश के लिए उसके घर गई थी. इसके बाद 9 जुलाई को उज्जैन के महाकाल मंदिर से नाटकीय अंदाज में विकास की गिरफ्तारी हुई थी. वहीं 10 जुलाई की सुबह कानपुर जिले के बाॅर्डर के पास उसका एनकाउंटर कर दिया गया.

जिस नाटकीय ढंग से ये एनकाउंटर हुआ उस पर भी काफी सवाल उठे थे. यूपी एसटीएफ ने अब तक विकास सहित उसके पांच साथियों को मुठभेड़ में मार गिराया है. पुलिस ने करीब तीन महीने बाद कोर्ट में 36 आरोपियों के खिलाफ करीब 1700 पन्नों की चार्जशीट दाखिल की थी. इस मामले में दो आरोपी अभी फरार हैं.


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