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सोमवार, 9 जून, 2025
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पीलीभीत में बाघ के हमले में किसान की मौत, आक्रोशित परिजनों ने किया हंगामा

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पीलीभीत (उप्र), नौ जून (भाषा) पीलीभीत जिले के न्यूरिया थाना इलाके में एक बाघ के हमले में किसान की मौत हो गयी। घटना से नाराज परिजनों ने हंगामा किया। पुलिस ने सोमवार को यह जानकारी दी।

पुलिस के मुताबिक, पीलीभीत जिले के माला वन रेंज क्षेत्र में गन्ने के खेत में सिंचाई करने गए मेवातपुर निवासी किसान गुड्डू (36) को बाघ 50 मीटर तक घसीट ले गया और उसका एक हाथ और एक पैर खा गया।

पुलिस ने कहा कि किसान की बाघ के हमले में मौत हो गई। घटना जिला मुख्यालय से छह किलोमीटर दूर पीलीभीत बाघ अभयारण्य के माला वन रेंज के मेवातपुर उर्फ शेरगंज गांव की है।

न्यूरिया थाना के प्रभारी निरीक्षक सुभाष मावी ने पत्रकारों को बताया कि वन विभाग को भी घटना की जानकारी दे दी गई है और पुलिस मामले की जांच कर रही है।

उन्होंने कहा कि गुड्डू रविवार रात को अपने खेत में सिंचाई करने गया था और सोमवार सुबह ग्रामीणों को बनकटी चौकी के पास स्थित खेत में उसका अधखाया शव दिखा।

पुलिस के अनुसार, परिजनों ने बताया जब किसान काफी देर तक घर नहीं लौटा तो परिजनो की खोजबीन में जंगल के किनारे क्षत-विक्षत शव मिला। इसके बाद गुस्साए परिजनों ने हंगामा कर दिया।

जिलाधिकारी ज्ञानेंद्र सिंह ने मौके पर परिजनों से मिलकर हर संभव मदद करने का आश्वासन दिया।

पीलीभीत टाइगर रिजर्व (पीटीआर) के उप निदेशक मनीष सिंह ने ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा कि पगचिह्न से बाघ की मौजूदगी की पुष्टि हुई है। विभाग घटना की जांच कर रहा है।

उन्होंने बताया कि किसान की जान बाघ के हमले में ही गई है। परिजनो और ग्रामीणों के शिकायत पर जिलाधिकारी ने जंगल से सटे गांवों में तार फेंसिंग का कार्य कराने को डीएफओ को निर्देश दिए।

जान गंवाने वाले किसान के पिता मंगला प्रसाद ने जिलाधिकारी के समक्ष आरोप लगाया कि कई बार फोन कॉल करने के बावजूद वन विभाग के कर्मचारी मौके पर नहीं पहुंचे। जब वे चौकी पहुंचे तो वहां ताला लटका था और सभी कर्मचारी फरार थे। हालांकि, वन विभाग ने इन आरोपों को गलत बताया। वन विभाग के कर्मचारियों ने बताया कि बाघ के हमले की सूचना पर वे मौके पर गए थे और खेत के किनारे-किनारे खोजी अभियान चला रहे थे।

कर्मचारियों ने कहा कि घटनास्थल से करीब 500 मीटर की दूरी पर उन्हें एक बाघ गन्ने के खेत में बैठा दिखा जो टीम को देखते ही उसकी तरफ दौड़ पड़ा। उन्होंने कहा कि टीम ने पटाखे फोड़कर किसी तरह अपनी जान बचाई।

भाषा सं आनन्द

संतोष

संतोष

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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