मुंबई, 21 फरवरी (भाषा) वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कंपनियों के बोर्ड में शामिल होने को लेकर महिलाओं में कायम हिचक पर अफसोस जाहिर करते हुए सोमवार को कहा कि महिला उम्मीदवारों को इसके लिए राजी करने में खुद उन्हें भी दिक्कत हुई है।
सीतारमण ने देश की वाणिज्यिक राजधानी मुंबई में बजट के बाद आयोजित एक कार्यक्रम में कहा, ‘मैंने मंत्री के रूप में कुछ लोगों को कंपनियों के बोर्ड में शामिल होने के लिए राजी करने की खुद भी कोशिश की है। हमें बोर्ड में उनके अनुभव की जरूरत है। लेकिन हमारे पास पर्याप्त महिलाएं नहीं आ रही हैं। यह एक गंभीर समस्या है।’
दरअसल कानूनी प्रावधानों के मुताबिक देश की शीर्ष 1,000 कंपनियों को अपने बोर्ड में कम-से-कम एक स्वतंत्र महिला निदेशक को शामिल करना जरूरी होता है।
इस बारे में पूछे जाने पर सीतारमण ने कहा, ‘मुझे उस तरह की महिलाओं के बारे में बताइए जिन्हें बोर्ड में शामिल किया जा सकता है। ऐसी महिलाएं कहां हैं?’
उन्होंने उद्योग जगत से इस समस्या के सही समाधान के साथ आगे आने का अनुरोध करते हुए कहा कि सरकार की तरफ से उन्हें पूरा सहयोग मिलेगा।
इस अवसर पर राजस्व सचिव तरुण बजाज ने कहा कि केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड में इस समय आधे से भी अधिक सदस्य महिलाएं हैं और उनके साथ काम करने का अनुभव काफी अच्छा रहा है।
भाषा
प्रेम रमण
रमण
यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.