नयी दिल्ली, 23 मई (भाषा) विप्रो के कार्यकारी चेयरमैन रिशद प्रेमजी का वित्त वर्ष 2024-25 में पारिश्रमिक दोगुना होकर करीब 13.7 करोड़ रुपये हो गया। हालांकि यह कंपनी के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) श्रीनिवास पलिया की करीब 53.64 करोड़ रुपये की सालाना आय से काफी कम है। कंपनी की नवीनतम वार्षिक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गयी है।
वित्त वर्ष 2023-24 में प्रेमजी ने कोई ‘कमीशन’ नहीं लिया था क्योंकि उस वर्ष कंपनी का वृद्धिशील एकीकृत शुद्ध लाभ नकारात्मक रहा था। उस साल उन्होंने लगभग 20 प्रतिशत की वेतन कटौती के साथ करीब 6.4 करोड़ रुपये का वेतन लिया था।
हालांकि, वित्त वर्ष 2024-25 के दौरान बेंगलुरु मुख्यालय वाली कंपनी का शुद्ध लाभ 18.9 प्रतिशत बढ़कर 13,135.4 करोड़ रुपये हो गया।
विप्रो की तरफ से अमेरिकी प्रतिभूति एवं विनिमय आयोग को सौंपी गई ‘20-एफ फाइलिंग’ (वार्षिक रिपोर्ट) के मुताबिक, प्रेमजी का पारिश्रमिक वित्त वर्ष 2024-25 में दोगुना होकर करीब 13.7 करोड़ रुपये हो गया, जो वित्त वर्ष 2023-24 में करीब 6.4 करोड़ रुपये था।
वहीं सात अप्रैल, 2024 को सीईओ एवं प्रबंध निदेशक का पद संभालने वाले श्रीनिवास पलिया को वित्त वर्ष 2024-25 में करीब 53.64 करोड़ रुपये का पारिश्रमिक मिला।
पलिया का यह पारिश्रमिक कंपनी के पूर्व सीईओ थिएरी डेलापोर्टे के वेतन से आधे से भी कम है। डेलापोर्टे को वित्त वर्ष 2023-24 में करीब 168 करोड़ रुपये का वेतन मिला था।
दस्तावेजों के अनुसार, पलिया ने वेतन एवं भत्ते के रूप में करीब 17 लाख डॉलर, कमीशन/परिवर्तनीय वेतन के रूप में करीब 17 लाख डॉलर, ‘अन्य’ के रूप में वर्गीकृत लगभग 28 लाख डॉलर और दीर्घकालिक मुआवजे के रूप में 68,850 डॉलर कमाए।
इसके मुताबिक, प्रेमजी और पलिया पिछले वित्त वर्ष की तुलना में कंपनी को हुए वृद्धिशील एकीकृत शुद्ध लाभ पर 0.35 प्रतिशत की दर से ‘कमीशन’ पाने के हकदार हैं।
इसके अलावा, पलिया को अलग-अलग ‘लॉक-इन’ अवधि वाले 16,77,202 शेयर विकल्प भी आवंटित किए गए। हालांकि वित्त वर्ष 2024-25 में प्रेमजी को कोई शेयर विकल्प नहीं दिया गया।
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