नयी दिल्ली, 12 सितंबर (भाषा) टाटा समूह ने बोतलबंद पानी की बिक्री करने वाली कंपनी बिस्लेरी इंटरनेशनल में हिस्सेदारी के अधिग्रहण को लेकर बातचीत शुरू कर दी है। सूत्रों ने यह जानकारी दी।
घटनाक्रम से परिचित एक सूत्र ने कहा कि यह बातचीत अभी शुरुआती दौर में है और इस सौदे के संपन्न हो पाने के बारे में अभी कुछ कहना जल्दबाजी होगी।
टाटा समूह अपने उपभोक्ता कारोबार का संचालन टाटा कंज्यूमर प्रोडक्ट्स लिमिटेड (टीसीपीएल) के बैनर तले करता है। यह कंपनी पहले से ही ‘हिमालयन’ ब्रांड के तहत बोतलबंद पानी की बिक्री करती है। इसके अलावा टाटा कॉपर प्लस वॉटर और टाटा ग्लूकोप्लस के ब्रांड भी उसके पास हैं।
ऐसी चर्चा है कि टीसीपीएल ने अपने बोतलंबद पानी कारोबार को मजबूत करने के लिए बिस्लेरी ब्रांड में हिस्सेदारी लेने को लेकर बातचीत शुरू की है।
हालांकि, इस बारे में संपर्क किए जाने पर टीसीपीएल और बिस्लेरी इंटरनेशनल दोनों ने ही टिप्पणी करने से इनकार कर दिया। बिस्लेरी के एक प्रवक्ता ने कहा, ‘कंपनी बाजार में लगाई जा रही अटकलों पर कोई टिप्पणी नहीं करना चाहती है।’
उद्योग क्षेत्र के जानकारों के मुताबिक, अगर यह सौदा संपन्न हो जाता है तो टाटा समूह की एफएमसीजी कंपनी टीसीपीएल बड़ी तेजी से बढ़ते बोतलबंद पानी कारोबार में बड़ी भूमिका निभाने की स्थिति में आ जाएगी।
बाजार शोध एवं परामर्शदाता टेकसाई रिसर्च की रिपोर्ट में कहा गया है कि वित्त वर्ष 2020-21 में देश का बोतलबंद पानी बाजार करीब 19,315 करोड़ रुपये रहा। लोगों के बीच स्वास्थ्य एवं स्वच्छता संबंधी जागरूकता बढ़ने से इस बाजार के सालाना 13.25 प्रतिशत की दर से बढ़ने की संभावना जताई गई है।
फिलहाल इस बाजार में बिस्लेरी का ही दबदबा है। कोका कोला का ब्रांड किनले, पेप्सिको का एक्वाफिना, पार्ले एग्रो का बैली और आईआरसीटीसी का ब्रांड रेल नीर भी इस बाजार में तगड़ी मौजूदगी रखते हैं।
भाषा प्रेम प्रेम अजय
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