मुंबई, 28 जनवरी (भाषा) आगामी सार्वजनिक निर्गमों के लिए डॉलर की आवक बढ़ने की उम्मीद के बीच रुपये ने पिछले तीन दिनों से जारी गिरावट के सिलसिले को तोड़ते हुए शुक्रवार को अमेरिकी डॉलर के मुकाबले पांच पैसे की बढ़त दर्ज की और 75.04 (अस्थाई) के स्तर पर बंद हुआ।
हालांकि विश्लेषकों ने कहा कि घरेलू शेयर बाजारों में कमजोरी ने रुपये की बढ़त को सीमित किया।
विदेशी मुद्रा कारोबारियों ने कहा कि भू-राजनीतिक तनाव, कच्चे तेल की कीमतों में तेजी और अमेरिकी फेडरल रिजर्व के रुख से भी स्थानीय मुद्रा प्रभावित हुई।
अंतर-बैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में डॉलर के मुकाबले रुपया 75.12 के स्तर पर खुला और दिन के कारोबार के दौरान इसने 74.88 के ऊपरी स्तर और 75.13 के निचले स्तर को देखा।
कारोबार के अंत में रुपया अमेरिकी मुद्रा के मुकाबले 75.04 (अनंतिम) पर बंद हुआ, जो पिछले बंद भाव 75.09 के मुकाबले पांच पैसे की बढ़त दर्शाता है।
इस बीच, छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 0.11 प्रतिशत बढ़कर 97.35 पर आ गया।
एचडीएफसी सिक्योरिटीज के शोध विश्लेषक दिलीप परमार ने कहा कि पिछले तीन दिनों से जारी तेज बिकवाली के बाद भारतीय रुपया स्थिर होने में कामयाब रहा।
उन्होंने कहा कि डॉलर की मजबूती, कच्चे तेल में तेजी और उच्च बॉन्ड प्रतिफल के चलते आने वाले दिनों में स्थानीय मुद्रा कमजोर हो सकती है।
इस सप्ताह के दौरान अमेरिकी डॉलर के मुकाबले स्थानीय मुद्रा में 61 पैसे की गिरावट हुई।
वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड वायदा 0.49 प्रतिशत बढ़कर 89.78 डॉलर प्रति बैरल हो गया।
शेयर बाजार के अस्थाई आंकड़ों के मुताबिक, विदेशी संस्थागत निवेशकों ने बृहस्पतिवार को सकल आधार पर 6,266.75 करोड़ रुपये के शेयर बेचे।
भाषा पाण्डेय प्रेम
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