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Tuesday, 7 October, 2025
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विनियमों से नवाचार बाधित नहीं होना चाहिए: नीति आयोग सीईओ

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नयी दिल्ली, सात अक्टूबर (भाषा) नीति आयोग के सीईओ बीवीआर सुब्रह्मण्यम ने मंगलवार को कहा कि विनियमों से नवाचार बाधित नहीं होना चाहिए।

उन्होंने ‘ग्लोबल फिनटेक फेस्ट 2025’ में कहा कि संस्था आधारित विनियमन से गतिविधि आधारित विनियमन की ओर बढ़ने की आवश्यकता है।

सुब्रह्मण्यम ने कहा, ”हमें ऐसी स्थिति में नहीं आना चाहिए, जहां विनियमन नवाचार को इस हद तक बाधित कर दे कि नवाचार कहीं और होने लगे।” नियामकों को चुस्त-दुरुस्त रहने की आवश्यकता है।

उन्होंने कहा, ”फिनटेक की संभावनाओं को साकार करने के लिए विनियमन में एक और बदलाव की आवश्यकता हो सकती है। यह संस्था आधारित विनियमन से हटकर वास्तव में गतिविधि आधारित विनियमन की ओर बढ़ना है।”

सुब्रह्मण्यम ने कहा, ”अगर मैं कोई बैंकिंग उत्पाद पेश कर रहा हूं, तो मुझे एक बैंकर के रूप में विनियमित करें और अपने सभी मानदंड वहां लागू करें। अगर मैं कोई फंड वितरित कर रहा हूं, तो मुझे उसके लिए एक बैंकर के बजाय एक वितरक के रूप में विनियमित करें।”

नीति आयोग के सीईओ ने बताया कि वित्त मंत्रालय और नियामक इस पर गहन चर्चा कर रहे हैं कि यह कैसे संभव हो सकता है।

सुब्रह्मण्यम ने कहा कि कृत्रिम मेधा (एआई) अभूतपूर्व पैमाने पर उथल-पुथल मचाने जा रहा है।

उन्होंने कहा, ”मुझे नहीं लगता कि चिंता (एआई के कारण) नौकरियों के जाने की है। चिंता नौकरियों के स्थान पर नई नौकरियों के आने की है। मुझे लगता है कि यही सबसे बड़ी बात है।”

उनके अनुसार, एआई प्रक्रियाओं को पूरी तरह से नया रूप देने और कुछ कार्यों को करने के तरीके को बदलने में मदद करेगा।

सुब्रह्मण्यम ने कहा कि इसका मतलब होगा कि नियामकों और फिनटेक क्षेत्र या नवप्रवर्तकों के बीच लगातार टकराव की स्थिति बनी रहेगी।

भाषा पाण्डेय रमण

रमण

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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