नयी दिल्ली, 21 अगस्त (भाषा) ऑनलाइन विक्रेताओं ने भारत में 1.58 करोड़ नौकरियों का सृजन किया है। इनमें से 35 लाख नौकरियां महिलाओं को मिली हैं। करीब 17.6 लाख खुदरा उद्यम ई-कॉमर्स गतिविधियों में हिस्सा ले रहे हैं।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने एक कार्यक्रम में ‘भारत में रोजगार तथा उपभोक्ता कल्याण पर ई-वाणिज्य के शुद्ध प्रभाव का आकलन’ नामक रिपोर्ट बुधवार को जारी की।
दिल्ली स्थित नीति अनुसंधान संस्थान ‘पहले इंडिया फाउंडेशन’ (पीआईएफ) द्वारा तैयार की गई रिपोर्ट में कहा गया, ‘‘ हमारे सर्वेक्षण के आंकड़ों के आधार पर हमारा अनुमान है कि ऑनलाइन विक्रेता 1.58 करोड़ नौकरियों का सृजन करते हैं जिनमें से 35 लाख नौकरियां महिलाओं के लिए हैं।’’
रिपोर्ट के अनुसार, ई-कॉमर्स भारत में रोजगार देने वाला एक प्रमुख क्षेत्र रहा है। औसतन, ऑनलाइन विक्रेता ऑफलाइन विक्रेताओं की तुलना में 54 प्रतिशत अधिक लोगों को रोजगार देते हैं और महिला कर्मचारियों की संख्या करीब दोगुनी है।
इसमें कहा गया, खुदरा क्षेत्र में ई-कॉमर्स पहुंच के दो सबसे बड़े योगदान रोजगार में वृद्धि और उपभोक्ता कल्याण में सुधार है। भौतिक बाजारों को विस्थापित करने के बजाय, ई-कॉमर्स छोटे शहरों जैसे नए क्षेत्रों में विस्तार कर रहा है।
रिपोर्ट में कहा गया, ‘‘ हमारे आंकड़ों से पता चलता है कि बड़े शहरों के उपभोक्ताओं की तुलना में छोटे शहरों के ज्यादा उपभोक्ता ऑनलाइन शॉपिंग पर प्रतिमाह 5,000 रुपये से अधिक खर्च करते हैं।’’
यह भारत की उपभोग गाथा है, जो भौतिक तथा डिजिटल खुदरा व्यापार के सह-अस्तित्व को सक्षम बनाती है।
इसमें 20 राज्यों तथा केंद्र शासित प्रदेशों के 35 शहरों में 2,062 ऑनलाइन विक्रेताओं, 2,031 ऑफलाइन विक्रेताओं और ई-कॉमर्स वेबसाइट के उत्पादों के 8,209 उपभोक्ताओं के अखिल भारतीय सर्वेक्षण के जरिये रोजगार तथा उपभोक्ता कल्याण पर ई-कॉमर्स के प्रभाव का विश्लेषण किया गया।
रिपोर्ट के अनुसार, प्रत्येक ई-कॉमर्स विक्रेता औसतन करीब नौ लोगों को रोजगार देता है, जिनमें से दो महिलाएं हैं। वहीं प्रत्येक ऑफलाइन विक्रेता करीब छह लोगों को रोजगार देता है, जिनमें से केवल एक महिला है।
इसमें कहा गया कि विभिन्न कौशल स्तरों पर रोजगार में वृद्धि हुई है, जिसमें उच्च-कुशल (प्रबंधन, विपणन), मध्यम-कुशल (ग्राहक सेवा, परिचालन) और निम्न-कुशल (गोदाम, रसद, वितरण) कार्य शामिल हैं।
इसमें कहा गया, ‘‘ कुल मिलाकर, इसमें शामिल ऑनलाइन विक्रेताओं में से दो-तिहाई से अधिक ने पिछले वर्ष ऑनलाइन बिक्री मूल्य तथा मुनाफे में वृद्धि का अनुभव किया। वहीं 58 प्रतिशत ने दोनों में वृद्धि देखी।’’
कार्यक्रम में नीति आयोग के पूर्व उपाध्यक्ष राजीव कुमार ने कहा कि ई-कॉमर्स ने भारत के खुदरा परिदृश्य में क्रांति ला दी है।
सांख्यिकी व कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय (एमओएसपीआई) के सचिव सौरभ गर्ग ने डिजिटल सार्वजनिक बुनियादी ढांचे के विस्तार के लिए सरकार की पहल की सराहना की, जिससे ई-कॉमर्स का सुचारू विस्तार संभव हुआ है।
भाषा निहारिका अजय
अजय
यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेंट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.