नयी दिल्ली, चार अप्रैल (भाषा) राष्ट्रीय कंपनी विधि अपीलीय न्यायाधिकरण (एनसीएलएटी) ने स्पोर्टा टेक्नोलॉजीज के अंतरिम समाधान पेशेवर (आईआरपी) को दिवाला समाधान प्रक्रिया की दिशा में कोई कदम नहीं उठाने का निर्देश देते हुए कंपनी को चालू हालत में रखने को कहा है। स्पोर्टा टेक्नोलॉजीज स्पोर्ट्स मंच ड्रीम 11 का संचालन करती है।
अपीलीय न्यायाधिकरण ने कहा कि वह पहले ही कंपनी की कॉरपोरेट दिवाला समाधान प्रक्रिया (सीआईआरपी) पर रोक लगा चुका है।
एनसीएलएटी ने अपने आदेश में कहा, “हम सिर्फ यह स्पष्ट करते हैं कि आईआरपी को सीआईआरपी में कोई कदम नहीं उठाने का निर्देश दिया गया है। हालांकि, आईआरपी के बने रहने से कंपनी चालू रहेगी।”
एनसीएलएटी ने 14 फरवरी को स्पोर्टा टेक्नोलॉजीज के खिलाफ कॉरपोरेट दिवाला समाधान प्रक्रिया (सीआईआरपी) शुरू करने के राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (एनसीलएटी) की मुंबई पीठ के आदेश पर रोक लगा दी थी।
इसने ड्रीम11 के सह-संस्थापक और मुख्य परिचालन अधिकारी (सीओओ) भावित सेठ द्वारा दायर एक याचिका पर एनसीएलटी के आदेश पर रोक लगा दी थी।
ड्रीम 11 आईपीएल टी20 क्रिकेट लीग की शीर्षक प्रायोजक भी है।
एनसीएलटी ने दिवाला और ऋणशोधन अक्षमता संहिता (आईबीसी) की धारा 9 के तहत परिचालन ऋणदाता रिवॉर्ड सॉल्यूशंस द्वारा 7.61 करोड़ रुपये के बकाया का दावा करते हुए दायर याचिका पर ड्रीम 11 के खिलाफ सीआईआरपी शुरू करने का निर्देश दिया था।
इसने मदन बजरंग लाल वैष्णव को स्पोर्टा टेक्नोलॉजीज के लिए आईआरपी नियुक्त किया था।
भाषा अनुराग अजय
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