नयी दिल्ली, 25 जून (भाषा) देश में यात्री कारों की सुरक्षा के आकलन के लिए घोषित कार्यक्रम ‘भारत एनसीएपी’ अगले साल एक अप्रैल से शुरू किया जाएगा। इसके तहत वाहनों को परीक्षणों के आधार पर सुरक्षा मानदंडों के लिहाज से ‘स्टार रेटिंग’ दी जाएगी।
शनिवार को जारी एक आधिकारिक बयान के अनुसार, भारत एनसीएपी कार्यक्रम में आठ सीटों तक के यात्री वाहनों को दुर्घटना की दशा में सवारियों के लिए सुरक्षित माने जाने के पैमाने पर परखा जाएगा। एम-1 श्रेणी के 3.5 टन वजन वाले यात्री वाहनों पर भारत एनसीएपी के तहत परीक्षण के बाद स्टार रेटिंग दी जाएगी।
भारत एनसीएपी के मानकों को वाहन सुरक्षा संबंधी वैश्विक मानकों के अनुरूप तैयार किया गया है। बयान में कहा गया है कि भारत एनसीएपी रेटिंग उपभोक्ताओं को वाहन का मूल्यांकन करने वाले लोगों के लिए प्रदान की जाने वाली सुरक्षा के स्तर का एक संकेत प्रदान करेगी। इसमें वयस्क सवारियों के अलावा बच्चों के लिए भी सुरक्षा स्तर को परखा जाएगा।
इस कार्यक्रम के लिए वाहनों का परीक्षण आवश्यक बुनियादी ढांचे के साथ परीक्षण एजेंसियों पर किया जाएगा। प्रस्तावित मूल्यांकन के तहत एक से पांच स्टार तक की रेटिंग वाहन मॉडल को दी जाएगी।
सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने अपने कई ट्वीट संदेशों में कहा कि भारत एनसीएपी एक उपभोक्ता-केंद्रित मंच के रूप में काम करेगा, जिससे ग्राहक स्टार-रेटिंग के आधार पर सुरक्षित कारों का विकल्प चुन सकेंगे। उन्होंने कहा कि इससे भारत के मौलिक उपकरण विनिर्माताओं (ओईएम) के बीच सुरक्षित वाहनों के निर्माण के लिए स्वस्थ प्रतिस्पर्धा को भी बल मिलेगा।
गडकरी ने कहा, ‘‘मैंने भारत एनसीएपी शुरू करने के लिए जीएसआर अधिसूचना के मसौदे को मंजूरी दे दी है जिसमें वाहनों को टक्कर परीक्षण में प्रदर्शन के आधार पर स्टार रेटिंग दी जाएगी।’’
गडकरी के अनुसार, भारत एनसीएपी भारत को दुनिया में वाहन क्षेत्र का अग्रणी केंद्र बनाने के मिशन के साथ आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में भी एक अहम जरिया साबित होगा।
भारत एनसीएपी निर्माताओं को सुरक्षा परीक्षण मूल्यांकन कार्यक्रम में स्वेच्छा से भाग लेने और नए कार मॉडलों में उच्च सुरक्षा स्तरों को शामिल करने के लिए प्रोत्साहित करेगा।
इस पहल के जरिये सड़क दुर्घटनाओं में होने वाली मौतों में कमी लाने की कोशिश की जाएगी। गडकरी ने वर्ष 2024 तक सड़क दुर्घटनाओं में होने वाली मौतों में 50 प्रतिशत की कमी लाने का लक्ष्य रखा हुआ है।
भाषा प्रेम प्रेम मानसी
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