नयी दिल्ली, चार अप्रैल (भाषा) सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री वीरेंद्र कुमार ने सोमवार को कहा कि दिव्यांगजन सहानुभूति नहीं बल्कि आत्मनिर्भर बनने के लिए समर्थन चाहते हैं।
फ्लिपकार्ट फाउंडेशन के शुभारंभ के मौके पर आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने यह बात कही। उन्होंने फाउंडेशन से कहा कि वह दिव्यांगों को कुशल और आत्मनिर्भर बनाने के लिए काम करे। कुमार ने कहा, ‘‘दिव्यांगजन सहानुभूति नहीं चाहते हैं। वे चाहते हैं कि लोग उनका साथ देकर उन्हें आगे बढ़ने में सक्षम बनाएं।’’
उन्होंने फ्लिपकार्ट फाउंडेशन से दिव्यांगों के लिए कार्यशालाओं का आयोजन करने और उनकी क्षमताओं की पहचान करने का आग्रह किया, ताकि उन्हें देश की वृद्धि में योगदान देने के लिए सक्षम बनाया जा सके।
फ्लिपकार्ट समूह के मुख्य कॉरपोरेट मामलों के अधिकारी रजनीश कुमार ने कहा कि फाउंडेशन ने अगले 10 वर्षों में दो करोड़ या उससे भी अधिक लोगों के जीवन पर प्रभाव डालने का लक्ष्य रखा है।
कुमार ने कहा, ‘‘हम ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों और छोटे उद्यमियों को डिजिटल तकनीकों को अपनाने में प्रशिक्षित करेंगे ताकि वे ऑनलाइन बिक्री कर सकें। यह आवश्यक नहीं है कि वे केवल फ्लिपकार्ट पर बिक्री करें। वे किसी भी मंच पर बिक्री कर सकेंगे।’’
उन्होंने आगे कहा कि फ्लिपकार्ट फाउंडेशन पांच रुपये, 10 रुपये आदि में सूक्ष्म योगदान जुटाएगा। इसका उपयोग विकलांगों और समाज के सीमान्त वर्गों के उत्थान के लिए किया जाएगा।
उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण राज्यमंत्री साध्वी निरंजन ज्योति ने कहा कि ई-कॉमर्स ने कोविड-19 महामारी के दौरान महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। अगर ऑनलाइन व्यवस्था नहीं होती, तो कई लोगों के घरों तक सब्जी, आटा या अन्य जरूरतों का सामान नहीं पहुंच पाता।’’
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