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Sunday, 29 September, 2024
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मंत्रिमंडल ने सभी सरकारी योजनाओं में अतिरिक्त पोषण-युक्त चावल के वितरण को मंजूरी दी

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नयी दिल्ली, आठ अप्रैल (भाषा) केंद्रीय मंत्रिमंडल ने सभी सरकारी योजनाओं में अतिरिक्त पोषण-युक्त चावल (फोर्टिफायड राइस) का वितरण करने के प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान कर दी है। इसे

सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) और अन्य योजनाओं के तहत तीन चरणों में लागू किया जायेगा ।

केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने शुक्रवार को संवाददाताओं को बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति (सीसीईए) की बैठक में इस आशय के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई ।

उन्होंने बताया कि इस संबंध में आपूर्ति एवं वितरण के लिये भारतीय खाद्य निगम (एफसीआई) और राज्यों की एजेंसियों ने पहले की 88.65 लाख टन अतिरिक्त पोषण-युक्त चावल की खरीद कर ली है।

इसे लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से अमल में लाया जायेगा तथा वर्ष 2024 तक चरणबद्ध तरीके से सभी राज्यों एवं केंद्र शासित प्रदेशों में लागू किया जायेगा ।

इस पर सालाना 2,700 करोड़ रुपये का खर्च आयेगा जिसे केंद्र सरकार वहन करेगी।

सरकारी बयान के अनुसार, अतिरिक्त पोषण-युक्त चावल का वितरण लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली, राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (एनएफएसए), समन्वित बाल विकास सेवा (आईसीडीएस), प्रधानमंत्री पोषण शक्ति निर्माण – पीएम पोषण योजना के अलावा केंद्र और राज्यों की अन्य कल्याण योजनाओं के लिये चरणबद्ध तरीके से किया जायेगा।

इसमें कहा गया है कि अतिरिक्त पोषण-युक्त चावल संबंधी इस व्यवस्था पर सालाना करीब 2,700 करोड़ रूपये का खर्च आयेगा और भारत सरकार खाद्य सब्सिडी के हिस्से के रूप में जून, 2024 तक इसे पूर्ण रूप से लागू होने तक वहन करेगी ।

इस पहल को तीन चरणों में लागू किया जायेगा। इसके पहले चरण के तहत समन्वित बाल विकास सेवा (आईसीडीएस), प्रधानमंत्री पोषण शक्ति निर्माण – पीएम पोषण योजना को लाया जायेगा। यह लागू होने की प्रक्रिया में है।

दूसरे चरण के तहत पूरी लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली तथा आकांक्षी एवं ज्यादा दबाव वाले सभी जिलों (291 जिले) में मार्च, 2023 तक इसे लागू किया जायेगा। तीसरे चरण में इस पहल को दूसरे चरण के बाद बचे देश के शेष जिलों में लागू किया जायेगा और इसे मार्च, 2024 तक पूरा किया जायेगा।

भाषा दीपक

दीपक अजय

अजय

यह खबर ‘भाषा’ न्यूज़ एजेंसी से ‘ऑटो-फीड’ द्वारा ली गई है. इसके कंटेट के लिए दिप्रिंट जिम्मेदार नहीं है.

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