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Monday, 6 May, 2024
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कृषि बिलों के खिलाफ जंतर-मंतर पर प्रदर्शन के लिए दिल्ली पुलिस ने किसानों को दी अनुमति

किसान यूनियनों ने कहा था कि वे मॉनसून सत्र के दौरान जंतर-मंतर पर 'किसान संसद' आयोजित करेंगे और 22 जुलाई से हर दिन सिंघू सीमा से 200 प्रदर्शनकारी इसमें शामिल होंगे.

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नई दिल्ली: दिल्ली पुलिस ने संसद के चालू मॉनसून सत्र के दौरान किसानों को जंतर-मंतर पर कृषि कानूनों को वापस लेने की मांग को लेकर प्रदर्शन करने की बुधवार को अनुमति दे दी. यह जानकारी आधिकारिक सूत्रों ने दी.

सूत्रों ने कहा कि किसान पुलिस सुरक्षा में बसों में सिंघू सीमा से जंतर-मंतर जाएंगे.

संसद का मॉनसून सत्र सोमवार को शुरू हुआ था और यह 13 अगस्त तक चलेगी.

एक दिन पहले किसान यूनियनों ने कहा था कि वे मॉनसून सत्र के दौरान जंतर-मंतर पर ‘किसान संसद’ आयोजित करेंगे और 22 जुलाई से हर दिन सिंघू सीमा से 200 प्रदर्शनकारी इसमें शामिल होंगे.

मंगलवार को दिल्ली पुलिस के अधिकारियों के साथ बैठक के बाद, एक किसान यूनियन के नेता ने कहा कि वे जंतर-मंतर पर कृषि कानूनों को खत्म करने की मांग को लेकर शांतिपूर्ण प्रदर्शन करेंगे और कोई भी प्रदर्शनकारी संसद नहीं जाएगा.

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गौरतलब है कि तीन नए कृषि कानूनों को निरस्त करने की किसान संगठनों की मांगों को लेकर 26 जनवरी को आयोजित ट्रैक्टर परेड राजधानी की सड़कों पर अराजक हो गई थी, क्योंकि हजारों प्रदर्शनकारियों ने बैरिकेड तोड़ दिये थे, पुलिस से भिड़ गए थे और लाल किले की प्राचीर पर एक धार्मिक ध्वज फहरा दिया था.

देशभर के हजारों किसान तीन कृषि कानूनों के खिलाफ दिल्ली की सीमाओं पर धरना दे रहे हैं, उनका दावा है कि यह न्यूनतम समर्थन मूल्य प्रणाली को खत्म कर देगा और उन्हें बड़े कार्पोरेट घरानों की दया पर छोड़ देगा.

सरकार इन कानूनों को प्रमुख कृषि सुधारों के तौर पर पेश कर रही है. किसान यूनियनों की सरकार के साथ 10 दौर से अधिक की बातचीत हो चुकी है लेकिन यह दोनों पक्षों के बीच गतिरोध को तोड़ने में विफल रही है.


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