नयी दिल्ली, 10 अप्रैल (भाषा) दिल्ली के महापौर महेश कुमार ने मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता को पत्र लिखकर ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए उपयोगकर्ता शुल्क लगाने के फैसले पर आपत्ति जताई है और इसे जनता पर अनावश्यक बोझ बताया है।
दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) द्वारा ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए उपयोगकर्ता शुल्क लगाने को लेकर राजनीतिक विवाद छिड़ गया है।
महापौर ने कहा कि गृह कर के साथ उपयोगकर्ता शुल्क वसूलने का प्रस्ताव एमसीडी ने कभी पारित ही नहीं किया।
उन्होंने पत्र में कहा, ‘यह प्रस्ताव सदन के समक्ष पेश नहीं किया गया और इसके बजाय नगर आयुक्त अश्विनी कुमार ने गुपचुप तरीके से इसे लागू किया। यह फैसला दिल्ली के निवासियों के हितों के खिलाफ है।’
कुमार ने कहा कि उपयोगकर्ता शुल्क लगाने से पहले एमसीडी को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि लोगों को घर-घर सेवाएं प्रदान की जाएं।
उन्होंने कहा कि सभी 12 जोन में कचरा संग्रहण कंपनियों का काम असंतोषजनक है, जिसके परिणामस्वरूप हर जगह कचरे के ढेर लगे हुए हैं।
महापौर ने कहा कि फिलहाल पश्चिमी जोन, मध्य जोन और दक्षिणी जोन में स्थिति बदतर है।
उन्होंने कहा कि 60 से 70 प्रतिशत कूड़ा निजी सेवाओं के माध्यम से इकट्ठा किया जाता है।
उन्होंने कहा, ‘जब तक दिल्ली नगर निगम हर घर से कूड़ा इकट्ठा करने में पूरी तरह सक्षम नहीं हो जाता, तब तक इस तरह के उपयोगकर्ता शुल्क लगाना उचित नहीं होगा।’
महापौर ने गुप्ता से एमसीडी को तुरंत यह निर्णय वापस लेने का निर्देश देने का आग्रह किया।
भाषा जोहेब माधव
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