नयी दिल्ली, 21 जनवरी (भाषा) दिल्ली उच्च न्यायालय ने मंगलवार को चुनावों में ईवीएम के इस्तेमाल के खिलाफ दायर याचिका को खारिज कर दिया और बताया जाता है कि इसके लिए कोई कारण नहीं बताया गया।
कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश विभु बाखरू और न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला की पीठ ने रमेश चंद्र की अपील को खारिज कर दिया जिसमें एकल न्यायाधीश के आदेश को चुनौती दी गई थी। पीठ ने कहा कि इसमें कोई दम नहीं है।
एकल न्यायाधीश ने पिछले साल याचिकाकर्ता की याचिका को खारिज कर दिया था, जिसमें भारत निर्वाचन आयोग को इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन (ईवीएम) के माध्यम से कोई भी चुनाव कराने से पहले प्रत्येक निर्वाचन क्षेत्र के लिए इसके इस्तेमाल के विशिष्ट कारण बताते हुए जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 की धारा 61-ए का पालन करने के निर्देश देने की मांग की गई थी।
पीठ ने कहा कि कानूनी प्रावधान आयोग को इलेक्ट्रॉनिक मशीनों का इस्तेमाल वोट दर्ज करने की अनुमति देने के लिए करते हैं और जिन निर्वाचन क्षेत्रों में इस तरह की ईवीएम को अपनाना जरूरी है, उसे भी आयोग द्वारा निर्दिष्ट किया जाता है।
उसने कहा, ‘‘हमें मौजूदा अपील में कोई दम नजर नहीं आता। इसे खारिज किया जाता है।’’
पिछले साल 22 जुलाई को याचिका को खारिज करते हुए एकल न्यायाधीश ने कहा था कि ईवीएम के उपयोग से संबंधित मुद्दा उच्चतम न्यायालय और उच्च न्यायालयों के निर्णयों के अंतर्गत आता है।
उन्होंने कहा कि शीर्ष अदालत ने भी मतपत्र प्रणाली पर लौटने संबंधी याचिका खारिज कर दी थी।
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