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शुक्रवार, 25 अप्रैल, 2025
होमदेश'देश शोक और गुस्से में है, केंद्र को माहौल को शांत करना चाहिए'—मेहबूबा ने पहलगाम हमले पर कहा

‘देश शोक और गुस्से में है, केंद्र को माहौल को शांत करना चाहिए’—मेहबूबा ने पहलगाम हमले पर कहा

पीडीपी प्रमुख और जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री मुफ्ती ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि केंद्र गुस्से को शांत करने के लिए कदम उठाएगा और यह भी सुनिश्चित करेगा कि पहलगाम जैसे आतंकवादी हमले फिर न होने पाएं.

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श्रीनगर: पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने शुक्रवार को दिप्रिंट को दिए एक साक्षात्कार में कहा कि पहलगाम हत्याकांड को अंजाम देने वाले आतंकवादियों को न्याय के कटघरे में लाया जाना चाहिए. जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री ने 26 लोगों की जान लेने वाले इस हमले को कश्मीर पर एक धब्बा करार दिया और कहा कि यह एक अपवाद है, क्योंकि इसमें पर्यटकों को निशाना बनाया गया.

उन्होंने यहां पीडीपी कार्यालय में कहा, “निश्चित रूप से, हत्याओं को अंजाम देने वालों को दंडित किया जाना चाहिए, ताकि ऐसी घटनाएं दोबारा न हों.”

उन्होंने आगे कहा, “यह बहुत दुखद और दिल दहला देने वाली स्थिति है. कश्मीर के लोग देश के बाकी हिस्सों के साथ शोक मना रहे हैं… उन्हें (पीड़ितों को) बेरहमी से मार दिया गया.” मुफ्ती ने यह भी रेखांकित किया कि यह पहली बार था कि हमले के बाद कश्मीर के लोगों ने स्वेच्छा से पूर्ण बंद का आह्वान किया और विरोध में सड़कों पर उतरे.

उन्होंने कहा, “जिन लोगों ने लोगों से उनका धर्म पूछकर उनकी हत्या की, वे आतंकवादी हैं.”

उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि मारे गए लोगों में कश्मीरी स्थानीय नागरिक आदिल शाह भी शामिल है, जिसने आतंकवादी की एके-47 छीनने की कोशिश की थी.

उन्होंने कहा, “यह वही कश्मीरी था, जिसने घायलों को अपनी पीठ पर लादकर ले जाया और पीड़ितों को खून दिया. इसलिए यह हिंदू और मुसलमानों का मामला नहीं है.”

मुफ्ती ने कहा कि आतंकवादी “देश में हो रहे सांप्रदायिक ध्रुवीकरण को और हवा देना चाहते थे.” यह पूछे जाने पर कि केंद्र को इस आतंकी कृत्य पर कैसे प्रतिक्रिया देनी चाहिए, उन्होंने कहा कि देश शोक में है और लोगों में काफी गुस्सा है. “इस स्थिति में, भारत सरकार से यह अपेक्षा की जाती है कि वह कुछ ऐसे कदम उठाए, जिससे गुस्सा शांत हो और यह भी सुनिश्चित हो कि ऐसी घटनाएं दोबारा न हों.”

(इस रिपोर्ट को अंग्रेज़ी में पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें)


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