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Saturday, 29 June, 2024
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5 साल में दोगुना हुआ बजट, मुंबई का अब तक का सबसे महंगा होगा वर्सोवा-विरार सी लिंक

सी लिंक मुंबई के पश्चिमी उपनगर वर्सोवा को तेजी से बढ़ते, घने आवासीय हब विरार से जोड़ेगा. जब पहली बार 2018 में इसकी कल्पना की गई थी, तो इसकी लागत 30,000 करोड़ रुपये आंकी गई थी.

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मुंबई: मुंबई के विकास प्राधिकरण ने शहर के सबसे महंगे समुद्री लिंक के निर्माण की योजना को मंजूरी दे दी है, इस परियोजना के लिए अनुमानित बजट जो पहले सोचा गया था उससे पांच साल में दोगुने से अधिक हो गया है.

प्राधिकरण की बैठक के मिनटों के अनुसार जिसे दिप्रिंट ने देखा है उसमें लिखा है कि मुंबई मेट्रोपॉलिटन रीजन डेवलपमेंट अथॉरिटी (MMRDA) ने इस महीने की शुरुआत में वर्सोवा-विरार सी लिंक – 43 किलोमीटर लंबी एलिवेटेड रोड – 63,426 करोड़ रुपये की लागत से बनाने की योजना को मंजूरी दी थी.

सी लिंक मुंबई के पश्चिमी उपनगर वर्सोवा को विरार के तेजी से बढ़ते, घने आवासीय केंद्र से जोड़ेगा- जो मुंबई महानगर क्षेत्र का सबसे बड़ा सब-अर्ब है.

एमएमआरडीए के अधिकारियों ने दिप्रिंट को बताया कि जब 2018 में पहली बार इस परियोजना की कल्पना की गई थी, तो इसकी लागत लगभग 30,000 करोड़ रुपये आंकी गई थी.

उन्होंने कहा: “चूंकि यह एक बड़ी परियोजना है, इसलिए हम एक अन्य सलाहकार द्वारा भी पूरी व्यवहार्यता रिपोर्ट की समीक्षा कर रहे हैं.”

वर्सोवा-विरार सी लिंक उत्तर में बांद्रा-वर्सोवा सी लिंक का विस्तार होगा. एमएसआरडीसी द्वारा बनाया जा रहा 17 किलोमीटर लंबा बांद्रा-वर्सोवा समुद्री लिंक मौजूदा बांद्रा-वर्ली समुद्री लिंक से जुड़ जाएगा, जो बाद में निर्माणाधीन तटीय फ्रीवे से जुड़ जाएगा. एक बार सभी लिंक तैयार हो जाने के बाद, मोटर चालकों के पास दक्षिण में मरीन ड्राइव से उत्तर में विरार तक निर्बाध कनेक्टिविटी होगी.

अब तक, निर्माणाधीन सेवरी-न्हावा शेवा मुंबई ट्रांस हार्बर लिंक (MTHL) को न केवल शहर में, बल्कि पूरे देश में सबसे लंबा समुद्री लिंक माना जाता था. 17,843 करोड़ रुपये की लागत से बनने वाली यह मुंबई की अब तक की सबसे महंगी सी लिंक परियोजना भी थी.

बांद्रा वर्सोवा सी लिंक पर 11,332.82 करोड़ रुपये खर्च होने की उम्मीद है, जबकि बांद्रा वर्ली सी लिंक 1,634 करोड़ रुपये की लागत से बनाया गया था.


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सेवरी-न्हावा शेवा एमटीएचएल मॉडल पर

एक बार पूरा हो जाने के बाद, 43 किमी वर्सोवा-विरार समुद्री लिंक निर्माणाधीन सेवरी-न्हावा शेवा एमटीएचएल से अधिक लंबा होगा.

एमएमआरडीए द्वारा एमटीएचएल भी लागू किया जा रहा है, जो इस साल दिसंबर तक सड़क को चालू करने की उम्मीद करता है.

22-किमी एमटीएचएल – निर्माणाधीन नवी मुंबई अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के लिए एक महत्वपूर्ण कनेक्टर – 17,843 करोड़ रुपये की लागत से बनाया जा रहा है, जो अब तक का सबसे महंगा है.

एमएमआरडीए की बैठक के ब्योरे के अनुसार, प्राधिकरण ने वर्सोवा-विरार समुद्री लिंक को एमटीएचएल के समान वित्तीय मॉडल पर बनाने का प्रस्ताव दिया है.

शोपीस एमटीएचएल को राज्य और केंद्र सरकारों की गारंटी के साथ जापान इंटरनेशनल कोऑपरेशन एजेंसी (जेआईसीए) से ऋण द्वारा फंडिंग किया जा रहा है.

एमएमआरडीए के एक अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर दिप्रिंट को बताया, ‘बड़ी परियोजना लागत को ध्यान में रखते हुए, फंडिंग प्राप्त करने के लिए, हमने आर्थिक मामलों के विभाग (केंद्रीय वित्त मंत्रालय के) को एक प्रारंभिक परियोजना रिपोर्ट पेश की है.’

उन्होंने आगे बताया, “जैसे ही हमें नीति आयोग और केंद्रीय शहरी विकास मंत्रालय की मंजूरी मिलती है, हम एमटीएचएल की तरह ही राज्य और केंद्र सरकारों की गारंटी के साथ आर्थिक मामलों के विभाग के माध्यम से जेआईसीए द्वारा वित्त पोषण के लिए परियोजना का प्रस्ताव देंगे.”

(संपादन: पूजा मेहरोत्रा )

(इस ख़बर को अंग्रेज़ी में पढ़नें के लिए यहां क्लिक करें)


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