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बेंगलुरु, एक मई (भाषा) कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने बृहस्पतिवार को भाजपा नीत केंद्र सरकार पर ‘‘श्रमिक विरोधी’’ होने का आरोप लगाया और कहा कि वह अमीर कॉरपोरेट और निजी कंपनियों के पक्ष में काम कर रही है।
उन्होंने यहां बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका (बीबीएमपी) द्वारा आयोजित मजदूर दिवस समारोह में श्रमिक वर्ग से अपने अधिकारों के प्रति जागरूक होने तथा खुद और अपने बच्चों को शिक्षित करने का आह्वान किया।
खरगे ने एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, “केंद्र की यह सरकार मजदूर विरोधी है। भाजपा गरीबों के हित में कोई कानून नहीं लाती। जो पहले से था, उसे भी उन्होंने अमीरों और कॉरपोरेट कंपनियों के हित में खत्म कर दिया है। आपको इसके प्रति सतर्क रहना चाहिए और इसके खिलाफ एकजुट होना चाहिए। अगर आप सतर्क और एकजुट नहीं हुए तो यह देश के लिए अच्छा नहीं होगा।”
यह याद करते हुए कि बाबा साहेब आंबेडकर ने श्रमिकों के कल्याण के लिए कई कानून बनाए थे, खरगे ने कहा कि देश में 44 श्रम कानून थे और मोदी सरकार ने इन्हें घटाकर चार कर दिया है।
खरगे ने कहा, “जो पहले से था, उन्होंने उसे हटा दिया और जो चाहते थे, उसे जोड़ दिया। वे आज श्रमिकों को परेशान कर रहे हैं। उन्होंने 10 घंटे काम की अनुमति दी है और महिलाएं रात में काम कर सकती हैं। मोदी सरकार श्रमिकों के बारे में नहीं सोचती, वास्तव में उन्होंने उन सुविधाओं को भी छीन लिया है जो कांग्रेस ने श्रमिक वर्ग को प्रदान की थीं।”
उन्होंने कहा कि बड़ी निजी कॉर्पोरेट कंपनियां अनुबंध के आधार पर श्रमिकों को नियुक्त कर रही हैं।
खरगे ने श्रमिक समुदाय से अपने बच्चों को शिक्षित करने का भी आग्रह किया तथा आंबेडकर के आह्वान – ‘‘शिक्षित बनो, संगठित हो और आंदोलन करो’’ – को अपनाने पर जोर दिया।
भाषा जोहेब अविनाश
अविनाश
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